गर्मी का मौसम आते ही लीची का बाजार गर्म होने लगा है। लेकिन हो सकता है कि लीची खाने की लोगों की तमन्ना इस बार काफी देर से पूरी हो।
बाजार सूत्रों से पता चला है कि इस बार लीची का उत्पादन पहले की अपेक्षा काफी कम हुआ है। लीची की आपूर्ति के बाबत आजादपुर सब्जी मंडी के फल विक्रता अजय सिंह का कहना है कि लीची की आपूर्ति अभी काफी कम हो रही है। इसके अलावा जितनी भी आपूर्ति हो रही है वह हाथों-हाथ बिक जाती है।
नई दिल्ली की आजादपुर फलमंडी में लीची के थोक व्यापारी कैलाश चद्र ने बताया कि इस बार लीची का उत्पादन काफी कम हुआ है। इस कारण णलीची की आपूर्ति कम हो रही है। लीची के दाम इस बार 700 से 800 रुपये प्रति 10 किलोग्राम है। जो पिछले साल इसी समय की कीमत से थोड़ा ज्यादा है। लेकिन आपूर्ति कम होने से हो सकता है कि आगे आने वाले समय में लीची के दाम और बढ ज़ाए।
चंद्र ने बताया कि बाजार में अभी जितनी भी लीची उपलब्ध है, उसकी आपूर्ति मुख्य तौर पर कोलकाता और बिहार से हो रही है। चंद्र ने यह भी बताया कि अभी बाजार में प्रतिदिन लीची के सिर्फ 300 से 350 बाक्स उतरते है, जो खरीदारों द्वारा हाथों-हाथ ले लिये जाते है।
गौर किया जाए तो इस समय दुनिया में लीची का सबसे ज्यादा उत्पादन चीन में किया जाता है। भारत का लीची उत्पादन में सातवां स्थान है। एक अनुमान के मुताबिक भारत मे पिछले पद्रंह सालों में लीची के उत्पादन में लगभग पचास फीसदी वृद्धि होने की बात स्वीकारी गई है। इसके अलावा देश में लीची का सबसे ज्यादा उत्पादन बिहार और पश्चिम बंगाल में होता है।