मैकलॉयड रसेल निपटा रही विवाद

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बीएस संवाददाता
Last Updated- December 12, 2022 | 1:25 AM IST

देश की सबसे बड़ी चाय उत्पादक कंपनी मैकलॉयड रसेल इंडिया का प्रवर्तक खेतान समूह दिवालिया प्रक्रिया में गए बगैर ही मामले के निपटारे के लिए वित्तीय ऋणदाता टेक्नो इलेक्ट्रिक ऐंड इंजीनियरिंग के साथ बातचीत में जुटा हुआ है। सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक दोनों पक्षों के बीच बातचीत जारी है और मामले के निपटारे के लिए जरूरी ब्योरे पर काम चल रहा है। हालांकि इसके बारे में संपर्क करने पर मैकलॉयड के प्रवर्तक आदित्य खेतान और टेक्नो के प्रबंध निदेशक पीपी गुप्ता ने कोई टिप्पणी नहीं की।
अगर दोनों पक्षों के बीच निपटारे की शर्तों पर सहमति बन जाती है तो उस करारनामे पर दस्तखत करने के बाद उसे मंजूरी के लिए नैशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल (एनसीएलटी) के समक्ष रखा जाएगा। दोनों पक्षों के बीच बातचीत का दौर 25 अगस्त को राष्ट्रीय नैशनल कंपनी लॉ अपीलीय ट्रिब्यूनल (एनसीएलएटी) में हुई पहली सुनवाई के बाद शुरू हुआ है। आदित्य खेतान ने एनसीएलटी के फैसले के खिलाफ अपीली पंचाट में अपील की हुई है।  एनसीएलटी ने इस मामले में कर्जदार कंपनी मैकलॉयड के खिलाफ दिवालिया प्रक्रिया शुरू करने का आदेश दिया हुआ है। इस आदेश के खिलाफ हुई सुनवाई में अपीली पंचाट ने खेतान की अपील तो स्वीकार कर ली लेकिन बकाया कर्ज की वसूली के लिए कर्जदारों की समिति (सीओसी) के गठन पर फौरन रोक लगाने से मना कर दिया। खेतान के वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने एनसीएलएटी में सुनवाई के दौरान सीओसी के गठन पर स्थगन आदेश देने का अनुरोध किया था लेकिन पंचाट ने कहा कि वह टेक्नो के जवाब को देखने के बाद ही इस पर विचार करेगा। टेक्नो को जवाब दाखिल करने के लिए 10 दिनों का समय दिया गया था। दिवालिया प्रक्रिया शुरू करने का आदेश आने के बाद से मैकलॉयड रसेल के शेयर रोजाना अपर सर्किट छू रहे हैं। बुधवार को भी बंबई स्टॉक एक्सचेंज पर इसका शेयर 4.94 फीसदी की तेजी के साथ 24.45 रुपये पर बंद हुआ।

जानकारों का कहना है कि अपीली पंचाट से दिवालिया प्रक्रिया पर स्थगन आदेश नहीं मिलने के बाद मैकलॉयड के प्रवर्तकों के पास बहुत सीमित विकल्प ही बचे थे। टेक्नो के साथ बातचीत के जरिये इस मामले का निपटारा करना भी उन सीमित विकल्पों में से एक है। 
घटनाक्रम से जुड़े एक सूत्र ने कहा, ‘हमारे लिए समय लगातार बीत रहा था क्योंकि सीओसी का गठन होना है।’

ऋणशोधन अक्षमता एवं दिवालिया संहिता (आईबीसी) के नियमों के मुताबिक, बकाया दावों की पुष्टि के बाद सीओसी का गठन करना होता है। दावा दाखिल करने की अंतिम तारीख 20 अगस्त थी। इस मामले में एनसीएलटी के नई दिल्ली पीठ ने गत 6 अगस्त को टेक्नो का आवेदन स्वीकार करते हुए कर्ज वसूली प्रक्रिया शुरू करने की मंजूरी दे दी थी। इसके साथ ही एक अंतरिम दिवालिया पेशेवर की भी नियुक्ति की गई।

First Published : September 1, 2021 | 11:23 PM IST