Q1 results: विमानन कंपनी इंडिगो ने साल 2024-25 (वित्त वर्ष 25) की पहली तिमाही में 2,728.8 करोड़ रुपये का संयुक्त शुद्ध लाभ दर्ज किया है। यह पिछले साल की इसी अवधि की तुलना में 11.7 प्रतिशत कम है। ईंधन की बढ़ती लागत, कुछ राज्यों में ईंधन पर मूल्य वर्धित कर में वृद्धि, विदेशी विनिमय की अधिक दरें और ठप पड़े विमानों के कारण रखरखाव खर्च में इजाफे की वजह से लाभ में यह गिरावट आई है। छह तिमाहियों के बाद ऐसा पहली बार हुआ है, जब देश की सबसे बड़ी विमानन कंपनी ने अपने संयुक्त शुद्ध लाभ में गिरावट दर्ज की है।
अलबत्ता यह अहम बात है कि पहली तिमाही का यह लाभ अब भी कंपनी द्वारा दर्ज किसी तिमाही का दूसरा सर्वाधिक शुद्ध लाभ है। इंडिगो ने साल 2022-23 (वित्त वर्ष 23) की पहली तिमाही के दौरान 3,090.6 करोड़ रुपये का संयुक्त शुद्ध लाभ दर्ज किया था। यह अब तक किसी तिमाही का सर्वाधिक शुद्ध लाभ रहा है।
कंपनी के नतीजों के बाद विमानन कंपनी के मुख्य कार्य अधिकारी पीटर एल्बर्स ने निवेशकों से कहा कि हालांकि ईंधन की अधिक लागत, विदेशी विनिमय की बढ़ती दरों, ठप पड़े विमानों और कुछ वैश्विक दिक्कतों के कारण कुछ मसले रहे लेकिन 2,278.8 करोड़ रुपये का मार्जिन, जो कुल अर्जित आय का लगभग 14 प्रतिशत हिस्सा है, दमदार है।
उच्च प्रावधानों के कारण वित्त वर्ष 2024-25 की पहली तिमाही (अप्रैल-जून तिमाही) में इंडसइंड बैंक का शुद्ध लाभ एक साल पहले के मुकाबले 2 फीसदी बढ़कर 2,171 करोड़ रुपये पर सपाट रहा। क्रमिक आधार पर ऋणदाता का मुनाफा बीते वित्त वर्ष की चौथी तिमाही के 2,349 करोड़ रुपये के मुकाबले 8 फीसदी कम रहा।
निजी क्षेत्र के ऋणदाता की पहली तिमाही में शुद्ध ब्याज आय (एनआईआई) एक साल पहले की तुलना में 11 फीसदी बढ़कर 5,408 करोड़ रुपये रही, जबकि इसी अवधि में अन्य आय 10 फीसदी की वृद्धि के साथ 2,441 करोड़ रुपये रही। पहली तिमाही में बैंक के लाभप्रदता का पैमाना यानी शुद्ध ब्याज मार्जिन सपाट रहकर 4.25 फीसदी रही।
बैंक की सकल गैर-निष्पादित आस्तियां (एनपीए) अनुपात 10 आधार अंक बढ़कर वित्त वर्ष 2025 की पहली तिमाही में 2.02 फीसदी रही और शुद्ध एनपीए 3 आधार अंक बढ़कर 0.60 फीसदी हो गया। पहली तिमाही में बैंक का सकल नुकसान 1,536 करोड़ रुपये रहा, उपभोक्ता बहीखाते से 1,488 करोड़ रुपये रहा। वित्त वर्ष 2024 की चौथी तिमाही में सकल नुकसान 1,428 करोड़ रुपये था।
प्रावधानों और आकस्मिक व्यय एक साल पहले के मुकाबले 6 फीसदी और एक तिमाही पहले के मुकाबले 10 फीसदी की वृद्धि के साथ 1,050 करोड़ रुपये रही। ऋणदाता का ऋण एक साल पहले के मुकाबले 15 फीसदी और पिछली तिमाही के मुकाबले 1 फीसदी बढ़कर 3.47 लाख करोड़ रुपये हो गया। वहीं, जमा भी एक साल पहले के मुकाबले 15 फीसदी और बीते वित्त वर्ष की चौथी तिमाही के मुकाबले 4 फीसदी की वृद्धि के साथ 3.98 लाख करोड़ रुपये रहा।
मिडकैप आईटी सेवा कंपनी एमफेसिस ने शुद्ध लाभ में पिछले साल के मुकाबले 404.5 करोड़ रुपये के साथ 2.1 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की है। तिमाही आधार पर लाभ में 2.9 प्रतिशत तक का इजाफा हुआ है।
राजस्व वृद्धि पिछले साल की तुलना में 4.6 प्रतिशत बढ़कर 3,422.5 करोड़ रुपये रहा। तिमाही आधार पर कंपनी के राजस्व में 0.2 प्रतिशत का मामूली इजाफा हुआ। कंपनी का शेयर 52 सप्ताह के शीर्ष स्तर 3,079.2 रुपये तक पहुंच चुका है। शेयर अपने पिछले बंद भाव की तुलना में छह प्रतिशत चढ़कर 3,015 रुपये पर बंद हुआ। वित्त वर्ष 25 के लिए दमदार ऑर्डर और 14.6 प्रतिशत से 16 प्रतिशत के मार्जिन अनुमान की बदलौत कंपनी के शेयर में तेजी आई।
एमफेसिस के मुख्य कार्य अधिकारी और प्रबंध निदेशक नितिन राकेश ने कहा ‘हम ग्राहक मांग में लगातार सुधार देख रहे हैं और सौदों की अपनी दमदार पाइपलाइन की वजह से हम इस बात पर सावधान रहते हुए आशावादी बने हुए हैं कि हमारे मुख्य बाजारों में यह प्रवृत्ति बेहतर होती रहेगी।’
मुंबई की फार्मा कंपनी सिप्ला ने 31 जून को समाप्त वित्त वर्ष 2024-25 की पहली तिमाही के दौरान कर बाद लाभ (पीएटी) में पिछले साल के मुकाबले 18.27 प्रतिशत का इजाफा दर्ज किया है और यह बढ़कर 1,177.64 करोड़ रुपये हो गया है। भारत और अमेरिका में प्रदर्शन की वजह से सिप्ला का परिचालन से राजस्व सालाना आधार पर 5.8 प्रतिशत तक बढ़कर 6,624.86 करोड़ रुपये हो गया।
पिछली तिमाही के मुकाबले कंपनी के राजस्व में 8.6 प्रतिशत का इजाफा नजर आया है और इसके साथ ही कर बाद लाभ में 25.4 प्रतिशत का इजाफा हुआ है। बीएसई पर सिप्ला का शेयर पिछले बंद भाव की तुलना में 5.2 प्रतिशत तक बढ़कर 1,578 रुपये पर बंद हुआ। इस परिणाम ने ब्लूमबर्ग के विश्लेषकों के अनुमानों को पीछे छोड़ दिया, जिसमें 6,792 करोड़ रुपये के राजस्व और 1,122 करोड़ रुपये के कर बाद लाभ का अनुमान लगाया गया था। मांग की वजह से अमेरिकी कारोबार में 25 करोड़ डॉलर के साथ तिमाही का सबसे अधिक राजस्व दर्ज हुआ।