दिल्ली की अर्थव्यवस्था में वृद्धि की रफ्तार सुस्त पड़ गई है। वर्ष 2023-24 में चालू व स्थिर मूल्य पर दिल्ली की जीडीपी में वृद्धि दर पिछले साल की तुलना में कम रही। हालांकि दोनों मूल्यों पर जीडीपी में इजाफा हुआ है। दिल्ली में प्रति व्यक्ति आय भी बढ़ी है लेकिन आय बढ़ने की दर पिछले वित्त वर्ष से सुस्त रही। दिल्ली सरकार ने आज वर्ष 2023-24 का आर्थिक सर्वेक्षण पेश किया है। सरकार सोमवार को बजट पेश करने जा रही है।
दिल्ली सरकार के आर्थिक सर्वेक्षण के अनुसार वर्ष 2023-24 में चालू कीमतों (current price) पर दिल्ली का सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) 11,07,746 करोड़ रुपये रहने का अनुमान है, जो वर्ष 2022-23 की 10,14,688 करोड़ रुपये की जीडीपी से 9.17 फीसदी अधिक है।
वर्ष 2023-24 में जीडीपी में भले ही 9.17 फीसदी इजाफा हुआ हो, लेकिन जीडीपी में यह वृद्धि दर बीते 3 साल के निचले स्तर पर पहुंच गई है।
वर्ष 2022-23 में जीडीपी 15.13 फीसदी और वर्ष 2021-22 में 18.41 फीसदी बढ़ी थी, जबकि 2020-21 में कोरोना की वजह से वृद्धि नकारात्मक रही थी। बीते 12 साल में यह तीसरा मौका है, जबकि चालू मूल्य पर जीडीपी वृद्धि दर दहाई अंक से नीचे रहने वाली है।
चालू कीमतों की तरह ही स्थिर मूल्यों (constant price) पर जीडीपी में बढ़ोतरी दर में कमी आई है। वर्ष 2023-24 के दौरान स्थिर मूल्य पर दिल्ली की जीडीपी 7.39 फीसदी बढ़कर 6,72,247 लाख करोड़ रुपये होने का अनुमान है।
वर्ष 2022-23 में स्थिर मूल्य पर जीडीपी में 7.85 फीसदी, वर्ष 2021-22 में 8.76 फीसदी इजाफा हुआ था। इस तरह स्थिर मूल्य पर दिल्ली की जीडीपी में बीते 3 साल के दौरान सबसे कम वृद्धि होने का अनुमान है।
दिल्ली सरकार के आर्थिक सर्वेक्षण के अनुसार वर्ष 2023-24 में चालू मूल्य पर दिल्ली की प्रति व्यक्ति आय 7.39 फीसदी बढ़कर 4,61,910 करोड़ रुपये रहने का अनुमान है। इससे पहले वाले दो वित्त वर्षों के दौरान प्रति व्यक्ति आय में क्रमश: 14.33 और 16.72 फीसदी इजाफा हुआ था। इस तरह चालू वित्त वर्ष में प्रति व्यक्ति आय वृद्धि दर तीन साल के निचले स्तर पर पहुंच गई।
दिल्ली की प्रति व्यक्ति आय राष्ट्रीय प्रति व्यक्ति आय से करीब 2.5 गुना अधिक है। वर्ष 2023-24 में राष्ट्रीय स्तर पर प्रति व्यक्ति आय 1,85,854 रुपये रहने का अनुमान है।
वर्ष 2023-24 के आर्थिक सर्वेक्षण के अनुसार दिल्ली सरकार के राजस्व अधिशेष में इजाफा हुआ है।
दिल्ली का राजस्व अधिशेष वित्त वर्ष 2022-23 में 14,457 करोड़ रुपये रहा, जो वर्ष 2021-22 के राजस्व अधिशेष 3,270 करोड़ रुपये से काफी अधिक है।
दिल्ली की वित्त मंत्री आतिशी का कहना है कि दिल्ली सरकार मुफ्त बिजली, पानी, स्वास्थ्य, शिक्षा, महिलाओं के लिए बस यात्रा, बुजुर्गों के लिए तीर्थ यात्रा की सुविधा दे रही है। इसके बावजूद दिल्ली राजस्व अधिशेष के साथ एक बढ़ती हुई अर्थव्यवस्था है।
इस सर्वेक्षण के अनुसार दिल्ली में कोविड के बाद बेरोजगारी दर में सुधार देखने को मिल रहा है। कोविड के बाद 2020-21 में दिल्ली की बेरोजगारी दर 6.3 फीसदी थी, जो वर्ष 2022-23 में घटकर 1.9 फीसदी रही।