प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज कहा कि देश की अर्थव्यवस्था में सुधार दिखना शुरू हो गया है। ‘इंडिया ग्लोबल वीक, 2020’ के उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि कोविड-19 महामारी के बीच भारत बड़े संरचनात्मक सुधार कर रहा है और अपनी अर्थव्यवस्था को निवेश के अनुकूल एवं अधिक प्रतिस्पद्र्घी बना रहा है। हालांकि उन्होंने अर्थव्यवस्था में सुधार की अपनी बात पर विस्तार से कुछ नहीं कहा मगर भरोसा दिलाया कि आत्मनिर्भर भारत अभियान की आड़ में देश में संरक्षवादी रवैया नहीं अपनाया जाएगा।
वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये 9 से 11 जुलाई तक चल रहे इंडिया ग्लोबल वीक 2020 में मोदी ने कहा कि भारत दुनिया में विदेशी निवेश के लिहाज से सबसे अनुकूल अर्थव्यवस्थाओं में शुमार है। उन्होंने रक्षा, अंतरिक्ष और कृषि क्षेत्र में निवेश के इच्छुकों को न्योता भी दिया और कहा कि दुनिया में आर्थिक गतिविधियों को बढ़ावा देने में भारत अहम भूमिका निभाएगा।
प्रधानमंत्री ने कहा, ‘आत्मनिर्भर भारत का मतलब यह नहीं है कि देश की अर्थव्यवस्था को बाहरी दुनिया से काट लिया जाएगा। इसका असली मकसद स्वावलंबी बनना और देश में ही उत्पादों के विनिर्माण को बढ़ावा देना है।’ उन्होंने कहा कि आत्मनिर्भर भारत के जरिये देसी उत्पादन और खपत को वैश्विक आपूर्ति शृंखला से जोडऩा ही मकसद है। उन्होंने कहा कि भारत दुनिया की हरेक कंपनी का देश में निवेश करने के लिए स्वागत कर रहा है और अपनी पैठ बनाने का मौका दे रहा है। बहुत कम देश इस तरह के मौके देते हैं।
कृषि क्षेत्र में सुधारों का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि इनसे भंडारण और रखरखाव में निवेश के आकर्षक मौके आए। उन्होंने सूक्ष्म, लघु एवं मझोले उपक्रम (एमएसएमई) क्षेत्र में हुए सुधारों की बात करते हुए कहा कि एमएसएमई क्षेत्र जब रफ्तार पकड़ेगा तो बड़े उद्योगों को उससे बहुत सहारा मिलेगा।
प्रधानमंत्री ने कहा कि कोविड-19 महामारी के बीच दवा उद्योग भारत ही नहीं पूरी दुनिया के लिए कीमती साबित हुआ है और यहां की कंपनियां कोविड-10 का टीका बनाने की वैश्विक कोशिशों में मदद कर रही हैं।