अर्थव्यवस्था

Rupee vs Dollar: डॉलर के मुकाबले रुपया 84.96 के नए निचले स्तर पर, RBI की निगरानी जारी

भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने सरकारी बैंकों के जरिये डॉलर बेचे जिससे रुपये में और ज्यादा कमजोरी आने से रुक गई।

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अंजलि कुमारी   
Last Updated- December 18, 2024 | 10:07 PM IST

Rupee vs Dollar: डीलरों का कहना है कि बुधवार को डॉलर के मुकाबले रुपया 84.96 नए निचले स्तर पर पहुंच गया। विदेशी बैंकों ने अमेरिकी फेडरल रिजर्व की बैठक के नतीजों से पहले अपने ग्राहकों की ओर से डॉलर खरीदे। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने सरकारी बैंकों के जरिये डॉलर बेचे जिससे रुपये में और ज्यादा कमजोरी आने से रुक गई। मंगलवार को रुपया दिन के कारोबार में 84.90 पर बंद हुआ था।

सरकार के स्वामित्व वाले एक बैंक के ट्रेजरी प्रमुख ने कहा, ‘महीने के अंत और विदेशी ग्राहकों की डॉलर मांग के कारण रुपये पर दबाव है। हालांकि, रुपया अन्य मुद्राओं की तुलना में बेहतर प्रदर्शन कर रहा है। गिरावट धीरे-धीरे हो रही है। अब इसके सीमित दायरे में कारोबार करने की उम्मीद है और प्रति डॉलर 85 का स्तर बना रह सकता है।’उन्होंने कहा, ‘अब कैलेंडर वर्ष समाप्त हो रहा है और विदेशी बैंकों के लिए खाते बंद करने का समय है जिससे कम से कम 15 जनवरी तक गिरावट धीमी ही रहेगी।’

डीलरों ने बाजार बंद होने के बाद बुधवार को होने वाली अमेरिकी फेडरल रिजर्व की बैठक से पहले सतर्क रुख रखा। बाजार ने मान लिया है कि अमेरिकी दर-निर्धारण समिति 25 आधार अंकों की कटौती कर सकती है। हालांकि, इससे आगे की दर कटौती के अनुमान पर ध्यान बना रहेगा।

एक अन्य सरकारी बैंक के ट्रेजरी प्रमुख ने कहा, ‘हमें एक दिन और इंतजार करना होगा क्योंकि आज रात को ब्याज दरों पर फैसला होना है। हस्तक्षेप की रणनीति में अभी तक कोई बदलाव नहीं हुआ है। कल (गुरुवार) यह स्पष्ट हो जाएगा कि आरबीआई 85 डॉलर प्रति डॉलर के स्तर को बचाने के लिए कितना इच्छुक है।’

रुपये ने चालू वर्ष में 11 अक्टूबर को 84 का स्तर पार किया था। घरेलू मुद्रा को मनोवैज्ञानिक रूप से महत्वपूर्ण इस स्तर को तोड़ने में 475 दिन लगे। आरबीआई रुपये का धीरे धीरे अवमूल्यन होने दे रहा है। केंद्रीय बैंक ने हमेशा यह कहा है कि वह बेवजह की अस्थिरता रोकने के लिए विदेशी मुद्रा बाजार में हस्तक्षेप करता है और किसी सीमा को लक्ष्य नहीं करता है।

कुछ कारोबारियों का मानना है कि यदि फेडरल रिजर्व अपना रुख आक्रामक रखता है तो रुपया 85 का आंकड़ा पार कर सकता है। विदेशी मुद्रा डीलरों ने कहा कि आरबीआई मध्यावधि के बाई-सेल स्वैप का संचालन कर रहा है जो प्रभावी रूप से लगभग छह महीने की अवधि के लिए इसे आगे बढ़ा रहा है। चालू कैलेंडर वर्ष में रुपये में 1.99 प्रतिशत की गिरावट आई है। इस महीने रुपया 0.48 फीसदी कमजोर हुआ है।

First Published : December 18, 2024 | 10:07 PM IST