कैबिनेट सचिव राजीव गाबा की अध्यक्षता वाले विनिवेश पैनल ने शिपिंग कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया के लिए अभिरुचि पत्र (ईओआई) और प्राथमिक सूचना ज्ञापन (पीआईएम) को मंजूरी देकर उसके निजीकरण का रास्ता साफ कर दिया है।
विनिवेश को लेकर बने सचिवों के मुख्य समूह (सीजीडी) ने सोमवार को एक बैठक में इस सरकारी कंपनी के निजीकरण की शर्तों को मंजूरी दे दी। यह कंपनी थोक कैरियर, कच्चे माल के टैंकर आदि के बेड़ों की मालिक है। एक सरकारी अधिकारी ने बताया कि अब यह विषय विनिवेश संबंधी मंत्री समूह के समक्ष जाएगा।
अधिकारी ने बताया कि सीजीडी ने जिन शर्तों को मंजूरी दी है उनके मुताबिक नए खरीदार के पास कम से कम 2,500 करोड़ रुपये की संपत्ति होनी चाहिए। सोमवार की शेयर कीमतों के मुताबिक कंपनी का बाजार पूंजीकरण 3,922 करोड़ रुपये था और इसमें सरकार की 63.75 फीसदी हिस्सेदारी का मूल्य करीब 2,500 करोड़ रुपये था। बिक्री की अन्य शर्तें मसलन नए खरीदार के लिए लॉक इन अवधि और कारोबारी निरंतरता योजना पीआईएम का हिस्सा नहीं होगी लेकिन इसे शेयर खरीद समझौते में शामिल किया जाएगा।
अधिकारी ने बताया कि एक बार विनिवेश और सार्वजनिक परिसंपत्ति प्रबंधन विभाग को सोमवार की बैठक का ब्योरा मिलने के बाद प्रस्ताव को उस मंत्री समूह के सामने पेश किया जाएगा जिसमें वित्त मंत्री, सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री तथा अन्य मंत्री शामिल होंगे। माना जा रहा है कि प्रस्ताव 18 दिसंबर के पहले मंत्री समूह के समक्ष पेश कर दिया जाएगा।
कंपनी में बहुलांश शेयरों की बिक्री और प्रबंधन अधिकारों का हस्तांतरण करने से सरकार को इस वर्ष ऐसे समय विनिवेश लक्ष्य हासिल करने में सहायता मिलेगी जबकि सरकार राजस्व की कमी से जूझ रही है।