भारत मौसम विज्ञान विभाग (India Meteorological Department) ने पूर्वानुमान जताते हुए कहा है कि साउथ वेस्ट मॉनसून के दौरान, नॉर्थ-वेस्ट भारत, वेस्ट, मध्य और नॉर्थ-ईस्ट क्षेत्रों में सामान्य से लेकर सामान्य से कम बारिश हो सकती है।
भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने मंगलवार को कहा कि प्रायद्वीपीय क्षेत्र, इससे सटे पूर्वी, पूर्वोत्तर क्षेत्रों के कई हिस्सों में तथा उत्तर पश्चिम भारत के कुछ हिस्सों में सामान्य बारिश हो सकती है।
विभाग के अनुसार, अल निनो की स्थिति में मॉनसून के दौरान विकसित हो सकती हैं और मॉनसून के दूसरे चरण में इसका असर महसूस हो सकता है। आईएमडी ने अल निनो को लेकर कहा कि जितने साल भी अल निनो सक्रिय रहा है, वे मानसून के लिहाज़ से बुरे वर्ष नहीं थे।
पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय में सचिव एम. रविचंद्रन ने बताया कि साउथ-वेस्ट मॉनसून के दौरान भारत में सामान्य वर्षा होगी। वहीं, विभाग बे सकारात्मक हिंद महासागर द्विध्रुव स्थिति में दक्षिण पश्चिम मानसून ऋतु के दौरान विकसित होने की भी संभावना जताई है।
इससे पहले निजी मौसम पूर्वानुमान एजेंसी स्काइमेट ने सोमवार को अल नीनो प्रभाव के प्रति आगाह करते हुए कहा था कि 2023 में साउथ-वेस्ट मानसून का लॉन्ग पीरियड एवरेज (LPA) 94 प्रतिशत पर रहने के साथ ‘औसत से नीचे’ रह सकता है।
स्काइमेट के मॉनसून पूर्वानुमान की माने तो जून 2023 से सितंबर तक चार महीने की औसत वर्षा 868.8 मिमी की तुलना में 816.5 मिमी यानी कि 94 प्रतिशत की संभावना है।
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