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1 घंटे में दिल्ली से लखनऊ! चीन की नई बुलेट ट्रेन ने रफ्तार का बनाया रिकॉर्ड

इस ट्रेन ने न केवल स्पीड, बल्कि ऊर्जा खपत, अंदर के शोर और ब्रेकिंग डिस्टेंस जैसे कई मामलों में अंतरराष्ट्रीय स्टैंडर्ड स्थापित किए हैं।

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बीएस वेब टीम   
Last Updated- December 30, 2024 | 8:32 AM IST

चीन ने रविवार को अपनी नई हाई-स्पीड बुलेट ट्रेन का अपडेटेड मॉडल लॉन्च किया है, जिसे निर्माता कंपनी ने दुनिया की सबसे तेज बुलेट ट्रेन बताया है। इस ट्रेन ने टेस्ट के दौरान 450 किमी प्रति घंटे की रफ्तार हासिल की।

नए मॉडल का नाम CR450

चीन स्टेट रेलवे ग्रुप कंपनी (चाइना रेलवे) के मुताबिक, इस नए मॉडल का नाम CR450 प्रोटोटाइप रखा गया है। यह ट्रेन यात्रा के समय को और कम करने और देश के लोगों को बेहतर कनेक्टिविटी देने में मदद करेगी। इस ट्रेन ने न केवल स्पीड, बल्कि ऊर्जा खपत, अंदर के शोर और ब्रेकिंग डिस्टेंस जैसे कई मामलों में अंतरराष्ट्रीय स्टैंडर्ड स्थापित किए हैं।

बात करें भारत की तो अभी हमारे देश में सबसे तेज चलने वाली ट्रेन वंदे भारत है जो कुछ ट्रैक पर 160 KMPH की रफ्तार से चलती है। वैसे भारत सरकार लगातार ट्रैक को मजबूत करते हुए ट्रेन की रफ्तार बढ़ाने की कोशिश कर रही है। अगर भविष्य में चीन की सबसे तेज बुलेट ट्रेन CR450 भारत में चले तो यह यात्रा को सुपरफास्ट बना सकती है। ऐसे में अगर आप दिल्ली से लखनऊ जा रहे हैं तो इस ट्रेन में आपको केवल 1 घंटे 4 मिनट ही लगेंगे। अभी लखनऊ से दिल्ली आने में भारत की सबसे तेज ट्रेन वंदे भारत करीब 6 घंटे 20 मिनट लेती है।

पुरानी ट्रेन से ज्यादा तेज

CR450, चीन की वर्तमान CR400 फुक्सिंग हाई-स्पीड रेल (HSR) से काफी तेज है। फुक्सिंग ट्रेन 350 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चलती है। चाइना रेलवे ने बताया कि CR450 प्रोटोटाइप पर और टेस्ट किए जाएंगे और तकनीकी सुधार किए जाएंगे ताकि इसे जल्द ही प्रोफेशनल सर्विस में शामिल किया जा सके।

चीन का HSR नेटवर्क

चीन में अभी 47,000 किलोमीटर हाई-स्पीड रेल ट्रैक का नेटवर्क है, जो देश के प्रमुख शहरों को जोड़ता है। हालांकि, यह नेटवर्क मुनाफे में नहीं है लेकिन सरकार का कहना है कि इसने आर्थिक और सामाजिक विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक, बीजिंग-शंघाई ट्रेन सेवा सबसे ज्यादा मुनाफा कमाने वाली है जबकि अन्य रूट्स पर यह लाभकारी साबित नहीं हुई है।

चीन ने हाल के सालों में थाईलैंड और इंडोनेशिया में भी अपना HSR नेटवर्क पहुंचाया है। इसके अलावा, सर्बिया में बेलग्रेड-नोवी सैड हाई-स्पीड रेल का निर्माण भी किया है।

First Published : December 30, 2024 | 8:10 AM IST