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कुवैत अग्निकांड: कुवैत सरकार देगी 15-15 हजार डॉलर का मुआवजा

भारत सरकार ने भयावह अग्निकांड में जान गंवाने वाले लोगों के परिवारों को 2-2 लाख रुपये का मुआवजा देने की घोषणा की थी।

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भाषा   
Last Updated- June 19, 2024 | 10:48 PM IST

कुवैत की सरकार दक्षिण अहमदी गवर्नरेट में पिछले दिनों हुए अग्निकांड में मारे गए 46 भारतीयों समेत सभी 50 लोगों के परिजनों को 15-15 हजार डॉलर का मुआवजा देगी। एक खबर में यह दावा किया गया।

कुवैत के अधिकारियों के अनुसार मंगाफ इलाके में 12 जून को सात मंजिला इमारत में शॉर्ट सर्किट से आग लग गई थी। इमारत में 196 प्रवासी श्रमिक रह रहे थे जिनमें अधिकतर भारतीय थे।

‘अरब टाइम्स’ अखबार में मंगलवार को प्रकाशित खबर के अनुसार कुवैत के अमीर, शेख मेशाल अल-अहमद अल-जबर अल-सबाह के आदेश पर मृतकों के परिजन को 15-15 हजार डॉलर (12.5 लाख रुपये) की राशि मुआवजे के तौर पर दी जाएगी। सरकारी सूत्रों के हवाले से अखबार ने लिखा कि संबंधित दूतावासों को यह राशि पहुंचाई जाएगी। अग्निकांड में फिलीपीन के तीन नागरिक भी मारे गए थे और एक मृतक की पहचान नहीं हुई है।

खबर में कहा गया है कि संबंधित दूतावास मृतकों के परिजनों तक राशि पहुंचाने का काम करेंगे। भारत सरकार ने भयावह अग्निकांड में जान गंवाने वाले लोगों के परिवारों को 2-2 लाख रुपये का मुआवजा देने की घोषणा की थी। केरल सरकार ने पिछले सप्ताह कहा था कि वह इस हादसे में जान गंवाने वाले अपने राज्य के लोगों के परिवारों को 5 लाख रुपये की आर्थिक मदद देगी।

केरल विधानसभा ने संवेदना व्यक्त की केरल विधान सभा ने बुधवार को कुवैत अग्निकांड में जान गंवाने वालों के परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त की। इस घटना में 24 केरलवासियों समेत लगभग 50 लोगों की मौत हो गई थी। विधान सभा अध्यक्ष ए एन शमशीर ने विधानसभा में श्रद्धांजलि संदेश पढ़ते हुए कहा कि सदन उन परिवारों के दुख को साझा करता है, जिन्होंने इस घटना में अपने प्रियजनों को खो दिया है।

मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन ने कहा कि प्रवासी हमारे देश की प्रगति और उन्नति में बहुत हद तक योगदान देते हैं। सदन में उन्होंने बताया कि कैसे प्रवासी मजदूर वैश्विक आर्थिक संकट, युद्ध और बदलते आव्रजन कानूनों जैसी चुनौतियों पर काबू पाकर अपने परिवारों और देश के भविष्य को उज्ज्वल बनाने के लिए कड़ी मेहनत करते हैं। उन्होंने कहा, ‘यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि उनमें से कई लोग अपने परिवारों के सपने पूरे करने से पहले ही आग में जलकर मर गए।’

विजयन ने राज्य स्वास्थ्य मंत्री वीना जॉर्ज के कुवैत जाने की राजनीतिक मंजूरी नहीं मिलने के मुद्दे को भी उठाया। उन्होंने कहा कि केंद्र की ओर से ऐसे रुख के बाद भी राज्य सरकार ने मृतकों के शवों को वापस लाने और घायलों को समय पर उपचार सुनिश्चित करने के लिए समन्वय में केंद्र सरकार के साथ हाथ मिलाया।

राज्य विधानसभा में विपक्ष के नेता वी डी सतीशन ने भी इस घटना पर संवेदना व्यक्त की और अपने प्रियजनों के पार्थिव शरीर को लेने के लिए कोचीन अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर गए परिवार के सदस्यों के दु:ख को याद किया। उन्होंने मंत्री जॉर्ज को कुवैत यात्रा की अनुमति न देने के केंद्र के फैसले पर भी कड़ा विरोध दर्ज कराया।

First Published : June 19, 2024 | 10:48 PM IST (बिजनेस स्टैंडर्ड के स्टाफ ने इस रिपोर्ट की हेडलाइन और फोटो ही बदली है, बाकी खबर एक साझा समाचार स्रोत से बिना किसी बदलाव के प्रकाशित हुई है।)