घोस्ट शॉपिंग सेंटर में इजाफा, उद्योग को लगी 6,700 करोड़ रुपये की चपत

नाइट फ्रैंक इंडिया की ताजा रिपोर्ट के अनुसार टियर-1 शहरों में शॉपिंग सेंटरों की संख्या भी घटी। हालांकि इस बीच शॉपिंग सेंटर वेकेंसी में सुधार देखने को मिला है।

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रामवीर सिंह गुर्जर   
Last Updated- May 08, 2024 | 2:06 AM IST

देश में घोस्ट शॉपिंग सेंटर (Ghost shopping center) की संख्या बढ़ रही है। जिससे अरबों रुपये का नुकसान हो रहा है। घोस्ट शॉपिंग सेंटर से मतलब उन शॉपिंग सेंटर या मॉल से है जिनमें 40 फीसदी से ज्यादा जगह खाली पड़ी है या इनमें कोई खरीदारी करने नहीं आता है या फिर ये बंद पड़े हैं।

नाइट फ्रैंक इंडिया की ताजा रिपोर्ट ‘थिंक इंडिया थिंक रिटेल 2024 के नाम से आज एक रिपोर्ट जारी की है। जिसमें नाइट फ्रैंक इंडिया ने 29 भारतीय शहरों के 340 शॉपिंग सेंटर का अध्ययन किया है।

इसमें पाया गया कि 2022 में 57 घोस्ट शॉपिंग सेंटर (Ghost shopping Centres) थे जबकि 2023 में इनकी संख्या बढ़कर 64 हो गई। घोस्ट शॉपिंग सेंटर की संख्या बढ़ने से इस उद्योग को 6,700 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ।

किस शहर में सबसे ज्यादा घोस्ट शॉपिंग सेंटर ?

नाइट फ्रैंक इंडिया की रिपोर्ट के अनुसार राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (Delhi-NCR) में 53 लाख वर्ग फुट स्टॉक के साथ सबसे अधिक घोस्ट शॉपिंग सेंटर हैं। सालाना आधार पर इसमें 58 फीसदी इजाफा हुआ है। एनसीआर के बाद मुंबई में 21 लाख वर्ग फुट, बेंगलुरू में 20 लाख वर्ग फुट के साथ घोस्ट शॉपिंग सेंटर हैं।

सालाना आधार पर मुंबई में 80 फीसदी और बेंगलूरू में 46 फीसदी बढ़ोतरी दर्ज की गई है। अहमदाबाद में इन सेंटर का स्टॉक 191 फीसदी बढ़कर 11 लाख वर्ग फुट, कोलकाता में 237 फीसदी बढ़कर 11 लाख वर्ग फुट, चेन्नई में 35 फीसदी बढ़कर 4 लाख वर्ग फुट और पुणे में 11 फीसदी बढ़कर 4 लाख वर्ग फुट हो गया।

हैदराबाद एक मात्र ऐसा शहर रहा जिसमें घोस्ट शॉपिंग सेंटर का स्टॉक साल-दर-साल 19 फीसदी गिरकर 9 लाख वर्ग फुट रह गया। देश के 8 प्रमुख शहरों में घोस्ट शॉपिंग सेंटर का 2023 में स्टॉक 133 लाख वर्ग फुट दर्ज किया गया, जो 2022 के स्टॉक 84 लाख वर्ग फुट से 59 फीसदी अधिक था। इस अवधि में घोस्ट शॉपिंग सेंटर की संख्या 57 से बढ़कर 64 हो गई।

टियर-1 शहरों में घटी शॉपिंग सेंटर की संख्या

नाइट फ्रैंक इंडिया की इस रिपोर्ट के अनुसार टियर-1 यानी बड़े शहरों में शॉपिंग सेंटर की संख्या पिछले एक साल में कम हुई है। 8 नये रिटेल सेंटर जुड़ने के बावजूद साल 2023 में शॉपिंग सेंटर की संख्या घटकर 263 रह गई क्योंकि इस वर्ष 16 शॉपिंग सेंटर बंद हो गए थे।

बिल्डरों ने आवासीय या वाणिज्यिक परियोजनाओं के निर्माण जैसे कारणों को देखते हुए खराब प्रदर्शन करने शॉपिंग सेंटर को ध्वस्त कर दिया या स्थायी रूप से बंद या नीलाम कर दिया।

टियर-1 में दिल्ली और टियर-2 में लखनऊ में सबसे अधिक पट्टे वाला स्टॉक

नाइट फ्रैंक इंडिया की इस रिपोर्ट के अनुसार 2023 में देश में शॉपिंग सेंटर का कुल स्टॉक 12.51 करोड़ वर्ग फुट दर्ज किया गया। इसका 75 फीसदी Gross Leasable Area (GLA) यानी सकल पट्टा योग्य क्षेत्र टियर-1 शहरों के 8 प्रमुख शहरों में रहा। इन शहरों के 263 शॉपिंग सेंटर के कुल 9.43 करोड़ वर्ग फुट GLA में से सबसे अधिक 3.13 करोड़ वर्ग फुट एनसीआर में दर्ज किया गया।

इसके बाद मुंबई में 1.63 करोड़ वर्ग फुट, बेंगलूरू में 1.56 करोड़ वर्ग फुट GLA शॉपिंग सेंटर में उपलब्ध रहा। टियर-2 शहरों में लखनऊ में सबसे अधिक 57 लाख वर्ग फुट GLA दर्ज किया गया।

इसके साथ ही लखनऊ टियर-2 शहरों के कुल GLA में 18 फीसदी हिस्सेदारी के साथ प्रमुख शॉपिंग सेंटर बनकर उभरा। 23 लाख वर्ग फुट के साथ कोच्चि दूसरे और 21 लाख वर्ग फुट के साथ जयपुर तीसरे नंबर पर रहा।

इस बीच, भारत के प्रमुख आठ शहरों में शॉपिंग सेंटर वैकेंसी में सुधार देखने को मिला है। वर्ष 2022 में 16.6 फीसदी वैकेंसी थी यानी इतने फीसदी शॉपिंग सेंटर खाली थे, जबकि 2023 में शॉपिंग सेंटर वैकेंसी सुधरकर 15.7 फीसदी हो गई।

First Published : May 7, 2024 | 7:25 PM IST