थम नहीं रही महंगाई की आग

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बीएस संवाददाता
Last Updated- December 05, 2022 | 9:23 PM IST

महंगाई की मार से बेचैन सरकार खाद्यान्न्न की कीमतों पर नियंत्रण के लिए पूरी जोर आजमाइश कर रही है, लेकिन महंगाई है कि पूरी तरह से काबू में आने का नाम नहीं ले रही है।


तमाम सरकारी कवायद के बाद खाद्य तेलों की कीमतों में तो जरूर कमी आई है, लेकिन चावल  निर्यात को प्रतिबंधित करने के बावजूद इसकी कीमतों में कमी नहीं आ पाई है। उधर, सरकारी कवायद की मिठास चीनी की बढ़ती कीमतों से कम हो रही है। इसकी कीमत में दो रुपये का उछाल आया है। पिछले माह चीनी की कीमत 18 रुपये किलो थी, वहीं  अब 20 रुपये किलो बिक रही है।


हालांकि सरकार को उम्मीद है कि अगले कुछ दिनों में चीनी की कीमतों में कमी आ सकती है, क्योंकि सरकार मई से सितंबर माह के दौरान बफर स्टॉक से 20 लाख टन चीनी खुले बाजार में बेचेने का इरादा किया है।


महंगाई से आहत सरकार ने पिछले महीने खाद्य तेलों के निर्यात पर प्रतिबंध लगा दिया था, वहीं कच्चे तेल के आयात पर सीमा शुल्क पूरी तरह खत्म कर दिया था। दाल और गैर-बासमती चावल के निर्यात पर प्रतिबंध लगा दिया गया। बासमती चावल के निर्यात को हतोत्साहित करने के मकसद से न्यूनतम निर्यात मूल्य को बढ़ाकर 48,000 रुपये प्रति टन कर दिया गया और निर्यात पर डीईपीबी स्कीम के तहत मिलने वाली रियायत को भी खत्म कर दिया गया। बावजूद इसके महंगाई का चूहा हाथ नहीं आ रहा है।

First Published : April 14, 2008 | 2:22 AM IST