मैं 27 वर्षीया वेतनभोगी महिला हूं। मैंने जनवरी 2008 में म्युचुअल फंडों में निवेश शुरू किया है और आगे भी इसे जारी रखूंगी।
मैंने व्यवस्थित निवेश योजना (एसआईपी) का रास्ता अपना कर एचडीएफसी इक्विटी ग्रोथ और रिलायंस ग्रोथ-जी में 2000 रुपये का निवेश किया है। मैं एक म्युचुअल फंड में 50,000 रुपये का निवेश करना और एसबीआई मैगनम कोंट्रा में 2000 रुपये से एक और एसआईपी शुरू करना चाहती हूं। कृपया मेरे द्वारा चुने गए फंड की समीक्षा करें और यदि बदलाव की जरूरत हो तो सुझाव भी दें। – अर्पिता दास
बधाई हो अर्पिता, आपने बहुत ही अच्छी शुरुआत की है। आपने शीर्ष दर्जे वाले फंडों और एसआईपी के जरिये निवेश करने के ऐसे फैसले लिए हैं जिन्हें सभी म्युचुअल फंड निवेशकों को अपनाना चाहिए। एचडीएफसी इक्विटी और रिलायंस ग्रोथ ऐसे फंड हैं जिनका रिकॉर्ड शानदार रहा है और इनमें निवेश का फैसला उपयुक्त है।
महत्वपूर्ण बात यह है कि आपने इसके लिए एसआईपी का रास्ता चुना है। यह निवेश, खासकर अनिश्चित बाजार के समय में, बेहद दूरदर्शी है। यदि आज आप अपने निवेश की समीक्षा करें तो आप पाएंगी कि अपने शुरुआती निवेश 28,000 रुपये (जुलाई तक कुल एसआईपी) की बाजार कीमत 24,294 रुपये (26 जुलाई, 2008 को) थी। आपके निवेश की बाजार कीमत में गिरावट आपके फंडों के नेट एसेट वैल्यू (एनएवी) में गिरावट के कारण हुई है।
यदि आपने एकमुश्त राशि का निवेश किया होता तो आपकी मौजूदा वैल्यू घट कर 18,375 रुपये होती। एसआईपी का रास्ता अपनाने के कारण निवेश की कीमत में ह्रास में कमी आई है। आपके पोर्टफोलियो पूंजीकरण की बात करें तो आपके पोर्टफोलियो का करीब 50 फीसदी मिड और स्मॉल कैप के शेयरों से बना है जो मौजूदा बाजार परिदृश्य में आपके पोर्टफोलियो को थोड़ जोखिम भरा बनाता है।
महत्वपूर्ण बात यह है कि आपके फंड पोर्टफोलियो में प्रमुख क्षेत्र का कोई पूर्वाग्रह नहीं है। स्वास्थ्य क्षेत्र की तरफ 13.96 फीसदी का सबसे अधिक आबंटन हुआ है। इस क्षेत्र में महज 6 फीसदी की गिरावट देखी गई जो सेंसेक्स की 34 फीसदी की गिरावट की तुलना में बेहद कम है।
अब आपके निवेश के भविष्य की बात करते हैं। हम आपको एसबीआई मैगनम कोंट्रा में 2000 रुपये के नए एसआईपी शुरू करने के लिए आगे बढ़ने का सुझाव देते हैं। वहीं आपके 50,000 रुपये के अतिरिक्त निवेश के लिए हमारी सलाह यही है कि आप यह राशि अपने मौजूदा फंडों और मैगनम कोंट्रा में लगाएं।
20,000 रुपये मैगनम कोंट्रा और 15,000 रुपये एचडीएफसी इक्विटी और 15,000 रुपये रिलायंस ग्रोथ में लगाएं। हालांकि यह निवेश एकमुश्त निवेश के बजाय सिलसिलेवार ढंग से किया जाना चाहिए। लेकिन आसान तरीका अपनाने के लिए हम आपको एकमुश्त निवेश पर आगे बढ़ाने की सलाह दे रहे हैं।
आपका अतिरिक्त निवेश शामिल होने के बाद मिड और स्कॉल कैप शेयरों में आपका पोर्टफोलियो तकरीबन 47 फीसदी का हो जाएगा। सेक्टरों का आबंटन कमोवेश समान ही है जिसमें स्वास्थ्य क्षेत्र का आबंटन 11.17 फीसदी रहता है। इसके बाद ऊर्जा (10.45 फीसदी) और वित्तीय सेवाओं (9.98 फीसदी) का आवंटन का नंबर है।
आपकी उम्र और निवेश अवधि को ध्यान में रख कर हम इक्विटी के लिए बड़े आबंटन का सुझाव देते हैं। अपने फंडों की हर साल समीक्षा करें और अच्छे प्रदर्शन के आधार पर फंडों में बदलाव करें। जब आप अपने वित्तीय लक्ष्य के नजदीक पहुंचें तो धीरे-धीरे अपना इक्विटी आवंटन घटाइए और नियत आय की योजनाओं में आवंटनके साथ-साथ आपका वित्तीय भार भी कम होता जाएगा।
यह उस वक्त बेहद अच्छा होगा यदि आप अपनी बचत का 10 फीसदी बैंक रिकरिंग डिपाजिट आदि में लगाना शुरू कर दें। किसी दूरदर्शी निवेशक के लिए सबसे अहम बात यह है कि उसे बाजार में उतार-चढ़ाव की चिंता किए बगैर अपने निवेश को नियमित और अनुशासित रखना चाहिए।
अधिकांश लोग बाजार में गिरावट आते ही अपने निवेश पर पुनर्विचार शुरू कर देते हैं और बाजार में गिरावट के बाद निवेश करना बंद कर देते हैं। और वे तभी फिर से निवेश शुरू करते हैं जब बाजार चढ़ने लगता है। नियमित और अनुशासित निवेश पर ध्यान देते हुए हमने पांच वर्षों के लिए 6,000 रुपये प्रति महीने के एक काल्पनिक निवेश का उदाहरण दिया है जिसका परिणाम तालिका में दर्शाया गया है। अब आप एसआईपी की महत्ता को जान ही गए होंगे। आपने निवेश के लिए इस रास्ते को अपना कर एक बेहद अहम फैसला लिया है।