गोल्डमैन सैक्स ने दिसंबर 2024 तक बेंचमार्क निफ्टी-50 का लक्ष्य संशोधित कर 23,500 कर दिया है, जो मौजूदा स्तर से 9 फीसदी की बढ़ोतरी दर्शाता है। अमेरिकी ब्रोकरेज ने इससे पहले 21,800 का लक्ष्य तय किया था। आय अपग्रेड और मूल्यांकन की दोबारा रेटिंग की बाद लक्ष्य में बढ़ोतरी हुई है।
गोल्डमैन सैक्स ने एक नोट में कहा कि आर्थिक मोर्चे पर बेहतरी से हमने 2024 के आखिर के लिए निफ्टी का लक्ष्य बढ़ाकर 23,500 कर दिया है, जो कीमत के लिहाज से 9 फीसदी और डॉलर में 12 फीसदी का रिटर्न दर्शाता है। संशोधित लक्ष्य में 2 फीसदी ज्यादा प्रति शेयर आय (ईपीएस) और 6 फीसदी ज्यादा लक्षित पीई (19.3 गुना) शामिल है।
ब्रोकरेज ने कहा कि वैश्विक आर्थिक हालात दो महीने पहले के मुकाबले इस उम्मीद में बेहतर हुए हैं कि अमेरिका में मजबूत वृद्धि होगी और अमेरिकी फेडरल रिजर्व दरों में कटौती कर सकता है। बेहतर वृद्धि और दर कटौती की उम्मीद ने हाल में हमें निफ्टी के लिए अपना लक्ष्य बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित किया है। इसमें मूल्यांकन गुणक का उच्च लक्ष्य शामिल किया गया है। अब हम उम्मीद कर रहे हैं कि साल 2024 के आखिर तक निफ्टी 23,500 पर पहुंच जाएगा।
गोल्डमैन सैक्स के इक्विटी रणनीतिकारों सुनील कौल और तिमोथी मोए ने एक नोट में कहा कि हम देसी क्षेत्रों और लार्जकैप (मिड व स्मॉलकैप के अलावा) के लिए अपनी पसंद बरकरार रखे हुए हैं और विभिन्न सिक्लिकल व अल्पावधि के लिहाज से बेहतर रिटर्न वाले आइडिया को प्राथमिकता दे रहे हैं।
ब्रोकरेज ने जिन अहम थीम की पहचान की है उनमें मेक इन इंडिया, रक्षा और एनर्जी ट्रांजिशन शामिल है। उसे उम्मीद है कि एमएससीआई इंडिया इंडेक्स में शामिल कंपनियां साल 2024 में आय में 15 फीसदी और 2025 में 14 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज करेंगी। साल 2023 में एमएससीआई इंडिया यूनिवर्स ने आय में 20 फीसदी की वृद्धि
दर्ज की।
गोल्डमैन सैक्स का अनुमान है कि फेड की पहली दर कटौती के बाद देसी बाजारों में एक से तीन महीने तक तेजी आ सकती है, लेकिन उसके बाद रिटर्न धीरे-धीरे गायब हो जाएगा। गोल्डमैन सैक्स के अमेरिकी अर्थशास्त्री फेड की ओर से दरों में साल 2024 में पांच बार कटौती का अनुमान जता रहे हैं जबकि पहले सिर्फ एक बार कटौती का अनुमान था और इसकी शुरुआत मार्च से होनी है।