बंद से प्रभावित कश्मीर घाटी में आज स्थिति शांतिपूर्ण रही और राज्यपाल एन एन वोरा ने राज्य के घटनाक्रम और सड़क मार्ग से आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति की समीक्षा की।
आधिकारिक सूत्रों ने कहा, हालांकि इस दौरान ‘दुकानें एवं व्यावसायिक प्रतिष्ठान बंद रहे। श्रीनगर और घाटी के अन्य हिस्सों में छोटी दुकानें सुबह खुलीं लेकिन बाद में युवकों ने उन्हें बंद करने को कहा।’ एक आधिकारिक प्रवक्ता ने कहा कि बैठक में लखनपुर- जम्मू- श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर फलों तथा आवश्यक वस्तुओं की आवाजाही पर विचार किया गया।
उन्होंने कहा कि पेट्रोलियम उत्पाद, रसोई गैस सिलेंडर, मवेशी, दवाइयां और अन्य घरेलू सामान की आपूर्ति पर विशेष जोर दिया गया। प्रवक्ता ने कहा कि फलों को घाटी से मैदानी भागों में भेजे जाने से संबंधित मुद्दे पर भी विचार विमर्श किया गया। बैठक में राष्ट्रीय राजमार्ग पर आवश्यक वस्तुओं की ढुलाई करने वाले वाहनों के आवागमन तथा कानून व्यवस्था से संबंधित मुद्दों का विस्तृत ब्यौरा दिया गया।
वोहरा ने कहा कि सभी क्षेत्रों विशेष रूप से कुछ ग्रामीण इलाकों में आवश्यक वस्तुओं की निर्बाध आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए प्रभावी और समिन्वत प्रयासों की आवश्यकता है। उल्लेखनीय है कि अलगाववादी संगठन और व्यापारिक संगठन अमरनाथ भूमि विवाद के आलोक में घाटी में ‘आर्थिक नाकेबंदी’ का विरोध कर रहे हैं। इसबीच नेशनल कांफ्रेंस तथा माकपा ने जम्मू कश्मीर में शांति और सौहार्द की स्थापना में प्रशासन को सहयोग देने का आश्वासन राज्यपाल एनएन वोहरा को दिया है।
सूत्रों ने बताया है कि हुर्रियत कांफ्रेंस तथा अन्य अलगाववादी समूहों तथा व्यापारिक संगठनों की समन्वय समिति की आज बैठक होगी। इसमें अमरनाथ भूमि विवाद से जुड़े आंदोलन में सुरक्षा बलों की कथित ‘सख्ती’ और घाटी में 22 लोगों के मारे जाने के विरोध में आयोजित बंद को जारी रखने या समाप्त करने के बारे में फैसला किया जाएगा।