भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) के चेयरमैन दिनेश कुमार खारा ने गुरुवार को कहा कि मोबाइल और इंटरनेट संपर्क ने वित्तीय समावेशन के विस्तार में भारत की बड़ी मदद की है।
उन्होंने साथ ही जोड़ा कि बैंक मित्रों से लेकर माइक्रो (सूक्ष्म) एटीएम तक के विस्तृत नेटवर्क ने अंतिम छोर तक बैंकिंग सेवाओं की पहुंच सुनिश्चित की है।
विश्व आर्थिक मंच (डब्ल्यूईएफ) की वार्षिक बैठक-2023 में वित्तीय समावेशन पर एक सत्र में उन्होंने कहा कि देश में वित्तीय और डिजिटल साक्षरता फैलाने के लिए बहुत कुछ किया जा रहा है। इससे लोगों को उनकी बैंकिंग जरूरतों को पूरा करने में मदद मिलेगी और साथ ही वे किसी धोखाधड़ी से सुरक्षित रहेंगे।
खारा ने कहा, ‘‘हम 1.3 अरब आबादी वाले देश हैं और हमारे पास लगभग 1.2 अरब मोबाइल फोन कनेक्शन हैं। हमारे यहां करीब 80 करोड़ इंटरनेट कनेक्शन भी हैं और इससे हमें वित्तीय समावेशन का विस्तार करने में काफी मदद मिली है।’’
एसबीआई प्रमुख ने कहा, ‘‘महामारी के दौरान, हमने एक और बेहतरीन काम किया- केवल नकदी बांटने के बजाय खाद्यान्न भी दिया जा रहा है।
इससे हमें महंगाई पर काबू पाने में मदद मिली।’’ उन्होंने कहा कि एसबीआई और अन्य बैंकों ने डिजिटल बैंकिंग की एक मजबूत प्रणाली तैयार की है, जो बिना देरी के तत्काल लोगों की बैंकिंग जरूरतों को पूरा करने में मदद करती है।
उन्होंने कहा, ‘‘मोबाइल फोन के अलावा हमारे पास अंतिम छोर के और बिना मोबाइल फोन वाले लोगों तक पहुंचने के लिए बैंकिंग मित्र की एक व्यवस्था है। इसके अलावा हमारे पास शाखाओं, एटीएम और माइक्रो एटीएम का एक बड़ा नेटवर्क है।’’