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शोध क्षेत्र की बाधाएं दूर करें, वैश्विक समस्याओं के स्थानीय समाधान पर ध्यान दें: पीएम मोदी

यह राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) के प्रावधानों के अनुरूप देश में वैज्ञानिक शोध को उच्च स्तरीय रणनीतिक दिशा देने वाले शीर्ष संस्थान के तौर पर काम करता है।

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बीएस संवाददाता   
Last Updated- September 10, 2024 | 10:55 PM IST

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि देश के अनुसंधान पारिस्थितिकी तंत्र के समक्ष आने वाली बाधाओं की पहचान कर उन्हें दूर करने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि समस्याएं वैश्विक प्रकृति की हो सकती हैं, लेकिन उनका समाधान भारतीय जरूरतों के अनुसार स्थानीय स्तर पर होना चाहिए।

प्रधानमंत्री मोदी ने मंगलवार को नवगठित अनुसंधान नेशनल रिसर्च फाउंडेशन (एएनआरएफ) की अपने निवास पर आयोजित पहली बैठक की अध्यक्षता करते हुए बड़े लक्ष्य तय करने, उन्हें हासिल करने पर ध्यान देने और पथप्रदर्शक शोध करने की बात भी कही। प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) की ओर से जारी एक बयान के मुताबिक बैठक में भारत के विज्ञान और प्रौद्योगिकी परिदृश्य और अनुसंधान एवं विकास कार्यक्रमों के पुनर्निधारण के बारे में चर्चा पर ध्यान केंद्रित किया गया।

एएनआरएफ की स्थापना वर्ष 2023 में देश के तमाम विश्वविद्यालयों, कॉलेजों, शोध संस्थानों और अनुसंधान एवं विकास प्रयोगशालाओं में अनुसंधान और विकास के प्रसार तथा शोध एवं नवोन्मेष की संस्कृति को बढ़ावा देने के उद्देश्य से की गई थी।

यह राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) के प्रावधानों के अनुरूप देश में वैज्ञानिक शोध को उच्च स्तरीय रणनीतिक दिशा देने वाले शीर्ष संस्थान के तौर पर काम करता है। बैठक के दौरान शासी निकाय ने हब एंड स्पोक मोड में एक कार्यक्रम शुरू करने का निर्णय लिया, जिसमें उन विश्वविद्यालयों को जोड़ा जाएगा जहां अनुसंधान प्रारंभिक चरण में है।

First Published : September 10, 2024 | 10:55 PM IST