रूस और यूक्रेन के बीच लंबे समय से चल रहे युद्ध के बीच एक और बड़ी खबर आ रही है। रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन शुक्रवार को एक हस्ताक्षर कार्यक्रम कर सकते हैं। इस साइनिंग सेरेमनी में रूस, यूक्रेन के चार और इलाकों के आधिकारिक अधिग्रहण की घोषणा करेंगे। ये घोषणा रूस के अपने तरीके के किए गए जनमत संग्रह के परिणामस्वरूप की जाएगी। हालांकि रूस के इस जनमत संग्रह को यूक्रेन समेत पश्चिम के कई देशों ने महज एक दिखावा बताया है। रूसी समर्थित अधिकारियों ने पहले ये दावा किया था कि जनमत संग्रह के इस पांच दिवसीय अभ्यास को लगभग कुल लोकप्रिय समर्थन मिला।जनमत संग्रह के लिए ये तथाकथित वोट पूर्व में लुहान्स्क(Luhansk) और डोनेट्स्क (Donetsk) में और दक्षिण में ज़ापोरिज्जिया (Zaporizhzhia) और खेरसॉन (Kherson) में हुए थे।बीबीसी न्यूज के हवाले से ऐसी खबर सामने आ रही है कि रूसी राष्ट्रपति पुतिन इस मामले में क्रेमलिन में एक भाषण देंगे।
जनमत कराने का फैसला
रूस पहले ही यूक्रेन के जीते हुए भाग में जनमत कराने का फैसला कर चुका है। दक्षिण और पूर्वी यूक्रेन से रूस के कब्जे वाले क्षेत्र में रूस समर्थित सेना ने मंगलवार को कहा कि उनके नागरिकों ने रूस की ओर से पांच दिन तक कराए गए जनमत संग्रह में रूस में शामिल होने के लिए मतदान किया है। रूस के इस कदम की आलोचना सभी पश्चिमी देश कर रहे हैं। अमेरिका सहित पश्चिमी देश का कहना है कि रूस ने यह जनमत बंदूक के दम पर कराया है। जनमत संग्रह के मुताबिक यूक्रेन के जेपरोजिया में 93.1%, खेरसान में 87%, लुहांस्क में 98.4% और डोनेत्स्क में 99.2% लोगों के रूस के तरफ अपनी आस्था दिखाई है।