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वित्त मंत्रालय अक्टूबर के दूसरे सप्ताह से वित्त वर्ष 2025-26 के लिए आम बजट तैयार करने की कवायद शुरू करेगा। भारतीय अर्थव्यवस्था ने लगातार चार वित्त वर्षों में सात प्रतिशत या अधिक की वृद्धि दर्ज की है।
अगले वित्त वर्ष का बजट, वृद्धि की गति को और तेज करने के सुधारों, रोजगार सृजन और अर्थव्यवस्था में मांग को बढ़ाने के उपायों पर केंद्रित होगा।
आर्थिक मामलों के विभाग द्वारा जारी बजट परिपत्र 2025-26 में कहा गया, “सचिव (व्यय) की अध्यक्षता में बजट-पूर्व बैठकें अक्टूबर, 2024 के दूसरे सप्ताह में शुरू होंगी।
वित्त सलाहकार यह सुनिश्चित करेंगे कि आवश्यक विवरण… सात अक्टूबर, 2024 से पहले या उस समय तक यूबीआईएस (केंद्रीय बजट सूचना प्रणाली) में ठीक से दर्ज किए जाएं।” इसमें कहा गया है कि निर्दिष्ट प्रारूप में डेटा की हार्ड कॉपी सत्यापन के लिए दी जानी चाहिए। यह नरेन्द्र मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल का दूसरा बजट होगा और वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के लिए यह लगातार आठवां बजट होगा, जो भारतीय राजनीति में एक दुर्लभ उपलब्धि है।
बयान के अनुसार, वित्त वर्ष 2025-26 के बजट अनुमानों को बजट-पूर्व बैठकों के पूरा होने के बाद अस्थायी रूप से अंतिम रूप दिया जाएगा।” बजट पूर्व बैठकें अक्टूबर, 2024 के दूसरे सप्ताह से शुरू होंगी और नवंबर, 2024 के मध्य तक जारी रहेंगी। बजट-पूर्व बैठकों के दौरान सभी श्रेणियों के व्यय के लिए धन की आवश्यकता के साथ-साथ मंत्रालयों/विभागों की प्राप्तियों और शुद्ध आधार पर व्यय अनुमानों पर चर्चा की जाती है।