निजी क्षेत्र के ऐक्सिस बैंक का एकल आधार पर शुद्ध लाभ चालू वित्त वर्ष की सितंबर तिमाही में 70 फीसदी उछलकर 5,329.77 करोड़ रुपये पर पहुंच गया। फंसे हुए ऋण में कमी के साथ आय में मजबूत वृद्धि से बैंक का लाभ बढ़ा है।
निजी क्षेत्र के देश के तीसरे सबसे बड़े बैंक ने बीते वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही में 3,133.32 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ कमाया था। एक्सिस बैंक ने गुरुवार को शेयर बाजार को भेजी सूचना में कहा कि एकल आधार पर उसकी आय सितंबर तिमाही में बढ़कर 24,180 करोड़ रुपये हो गई।
एक साल पहले इसी तिमाही में यह 20,134 करोड़ रुपये थी। इसमें से ब्याज के जरिये आय इसी तिमाही के दौरान 24 फीसदी बढ़कर 20,239 करोड़ रुपये हो गई। यह बीते वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही में 16,336 करोड़ रुपये थी। इसके बैंक की सकल गैर-निष्पादित परिसंपत्ति (एनपीए) 30 सितंबर, 2022 को समाप्त तिमाही में घटकर 2.50 फीसदी पर आ गयी, जो एक साल पहले की समान अवधि में 3.53 फीसदी पर थी।
इस दौरान बैंक का फंसा हुआ शुद्ध कर्ज भी 1.08 फीसदी से घटकर 0.51 फीसदी पर आ गया। ऐक्सिस बैंक का शेयर गुरुवार को बीएसई पर 0.42 फीसदी की गिरावट के साथ 826.20 रुपये पर बंद हुआ। यूनियन बैंक के शुद्ध लाभ में 21.07 प्रतिशत इजाफा
शुद्ध ब्याज मार्जिन में सुधार की वजह से यूनियन बैंक ऑफ इंडिया का शुद्ध लाभ सितंबर में समाप्त हुई तिमाही (वित्त वर्ष 23 की दूसरी तिमाही) के दौरान सालाना आधार पर 21.07 प्रतिशत तक बढ़कर 1,848 करोड़ रुपये हो गया। सार्वजनिक क्षेत्र के ऋणदाता ने वित्त वर्ष 22 की दूसरी तिमाही में 1,526 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ दर्ज किया था। गुरुवार को बीएसई पर बैंक का शेयर 1.0 फीसदी चढ़कर 47.25 रुपये प्रति शेयर पर कारोबार कर रहा था।
यूनियन बैंक की शुद्ध ब्याज आय (एनआईआई) वित्त वर्ष 23 की दूसरी तिमाही में सालाना आधार पर 21.61 प्रतिशत बढ़कर 8,305 करोड़ रुपये हो गई। बीएसई को दी गई सूचना के अनुसार बैंक का शुद्ध ब्याज मार्जिन (एनआईएम) वित्त वर्ष 23 की दूसरी तिमाही में बढ़कर 3.15 प्रतिशत हो गया, जो वित्त वर्ष 22 की दूसरी तिमाही में 2.95 प्रतिशत था।
इस समीक्षाधीन तिमाही के दौरान ऋणदाता की गैर-ब्याज आय सालाना आधार पर 17.65 प्रतिशत घटकर 3,276 करोड़ रुपये रह गई। इसका
सितंबर 2022 तक 8.45 प्रतिशत सकल गैर-निष्पादित आस्तियों (जीएनपीए) के साथ इसके परिसंपत्ति गुणवत्ता प्रोफाइल में सुधार हुआ है, जो एक साल पहले 12.64 प्रतिशत था। शुद्ध एनपीए 4.61 प्रतिशत से घटकर 2.64 प्रतिशत रह गया।
समीक्षाधीन तिमाही में प्रोविजन कवरेज अनुपात बढ़कर 86.61 प्रतिशत हो गया, जो एक साल पहले 81.77 प्रतिशत था।
केनरा बैंक का शुद्ध लाभ 89 बढ़ा
बेंगलूरु स्थित केनरा बैंक ने जुलाई-सितंबर (वित्त वर्ष 23 की दूसरी तिमाही) के दौरान अपने शुद्ध लाभ में 89 प्रतिशत के इजाफ के साथ 2,525 करोड़ रुपये की वृद्धि दर्ज की, जिसे अग्रिमों में बढि़या इजाफे के कारण अधिक शुद्ध ब्याज आय से मदद मिली। एक साल पहले की अवधि में सार्वजनिक क्षेत्र के इस ऋणदाता ने 1,333 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ दर्ज किया था। बैंक एक नई कर व्यवस्था में स्थानांतरित हुआ है, जिसके परिणामस्वरूप 2,451 करोड़ रुपये की कर कटौती स्थगित कर दी गई है।
ऋणदाता की शुद्ध ब्याज आय सालाना आधार पर 18.5 प्रतिशत बढ़कर 7,434 करोड़ रुपये हो गई, जो पहले 6,273 करोड़ रुपये थी। इसी अवधि में गैर-ब्याज आय सालाना आधार पर 13 प्रतिशत बढ़कर 4,825 करोड़ रुपये हो गई। बैंक का शुद्ध ब्याज मार्जिन, जिसे लाभ का पैमाना माना जाता है, पिछली तिमाही के 2.78 प्रतिशत और एक साल पहले की तिमाही के 2.77 प्रतिशत के मुकाबले 2.86 प्रतिशत रहा।
ऋणदाता के प्रावधान और आकस्मिक व्यय में सालाना आधार पर आठ प्रतिशत तक का इजाफा हुआ है और क्रमिक रूप से मामूली घटकर 3,636.81 करोड़ रुपये रह गया। वित्त वर्ष 23 की दूसरी तिमाही में प्रोविजन कवरेज अनुपात बढ़कर 85.36 प्रतिशत हो गया।
सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया के मुनाफे में 27 प्रतिशत इजाफा
हाल ही में भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के त्वरित सुधारात्मक कार्रवाई (पीसीए) ढांचे से बाहर आए सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया का शुद्ध लाभ जुलाई-सितंबर तिमाही के दौरान सालाना आधार पर 27.20 प्रतिशत बढ़कर 318 करोड़ रुपये हो गया। इसका एनआईआई 24.52 प्रतिशत तक बढ़कर 2,747 करोड़ रुपये हो गया। बैंक का एनआईएम वित्त वर्ष 23 की दूसरी तिमाही में बढ़कर 3.44 प्रतिशत हो गया, जो एक साल पहले की समान अवधि में 2.97 प्रतिशत था।
सरकारी स्वामित्व वाले इस ऋणदाता के जीएनपीए में वित्त वर्ष 23 की दूसरी तिमाही के दौरान 9.67 प्रतिशत की तेज गिरावट नजर आई है, जो एक साल पहले की अवधि में 15.52 प्रतिशत था। इसी तरह इसी अवधि के दौरान शुद्ध एनपीए 4.51 प्रतिशत से गिरकर 2.95 प्रतिशत हो गया। इसका सकल अग्रिम सालाना आधार पर 12.2 प्रतिशत तक बढ़कर 1.9 लाख करोड़ रुपये हो गया, जबकि इसकी जमाओं में 1.96 प्रतिशत इजाफा हुआ और यह बढ़कर 3.43 लाख करोड़ रुपये हो गईं।
दूसरी तिमाही में एशियन पेंट्स का मुनाफा 31.3 फीसदी बढ़ा
सितंबर में समाप्त होने वाली तिमाही के दौरान एशियन पेंट्स का शुद्ध लाभ 31.3 प्रतिशत बढ़कर 783 करोड़ रुपये हो गया। इसका श्रेय दाम वृद्धि और घरेलू साज-सज्जा कारोबार में मजबूत मांग को जाता है। पेंट दिग्गज की शुद्ध बिक्री भी सालाना आधार पर 18.8 प्रतिशत बढ़कर 8,431 करोड़ रुपये हो गई। एशियन पेंट्स के प्रबंध निदेशक और मुख्य कार्याधिकारी अमित सिंघल ने कहा कि मॉनसून की अवधि में विस्तार के कारण मांग में नरमी के बावजूद घरेलू साज-सज्जा बाजार ने मजबूती दिखाई और मात्रा के लिहाज से दहाई अंकों में वृद्धि हासिल की है।
प्रमुख बाजारों में प्रतिकूल स्थिति के बावजूद अंतरराष्ट्रीय कारोबार के राजस्व में भी दो अंकों का इजाफा नजर आया है। अंतरराष्ट्रीय बाजार में उसकी बिक्री वित्त वर्ष 2022-23 की दूसरी तिमाही में 15.3 प्रतिशत बढ़कर 805.99 करोड़ रुपये हो गई, जो एक साल पहले की समान अवधि में 699.28 करोड़ रुपये थी।
बजाज फाइनैंस का मुनाफा 88 फीसदी उछला
बजाज फाइनैंस ने सितंबर तिमाही में अब तक का सबसे ज्यादा एकीकृत शुद्ध लाभ अर्जित किया है, जिसे शुद्ध ब्याज आय में खासी बढ़ोतरी और कर्ज के नुकसान पर कम प्रावधान से सहारा मिला। तिमाही में कंपनी का शुद्ध लाभ सालाना आधार पर 88 फीसदी उछलकर 2,781 करोड़ रुपये पर पहुंच गया, जो पिछले साल की समान अवधि में 1,481 करोड़ रुपये रहा था।
कंपनी की शुद्ध ब्याज आय सालाना आधार पर 31 फीसदी की बढ़ोतरी के साथ 7,001 करोड़ रुपये पर पहुंच गई, जो पिछले साल की समान अवधि में 5,337 करोड़ रुपये रही थी, जिसे प्रबंधनाधीन परिसंपत्तियों में मजबूत बढ़ोतरी से मदद मिली। कंनपी का एयूएम सितंबर तिमाही में 31 फीसदी की उछाल के साथ 2.18 लाख करोड़ रुपये पर पहुंच गया।
कंपनी का कर्ज नुकसान पर प्रावधान सालाना आधार पर 44 फीसदी घटकर 734 करोड़ रुपये रह गया, जो एक साल पहले की समान अवधि में 1,300 करोड़ रुपये रहा था। कंपनी वित्त वर्ष 23 में कर्ज पर औसत परिसंपत्तियों का 1.35 से 1.45 फीसदी तक के नुकसान की संभावना जता रही है।
कंपनी का सकल एनपीए क्रमिक आधार पर 8 आधार अंक सुधरकर 1.17 फीसदी पर आ गया, वहीं शुद्ध एनपीए 6 आधार अंक घटकर 0.44 फीसदी रहा। कंपनी का शेयर गुरुवार को 0.69 फीसदी की बढ़ोतरी के साथ 7,429.25 रुपये पर बंद हुआ।