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और बढ़ा देसी आलू का दर्द

Last Updated- December 09, 2022 | 10:06 PM IST

पाकिस्तान में भी देसी आलू को जगह नहीं मिली। भारत के आलू निर्यात पर पाकिस्तान द्वारा 25 फीसदी का शुल्क लगाए जाने से गुरुवार को आलू के निर्यात में 50 फीसदी तक की गिरावट दर्ज की गयी।


इन आलुओं की आवक दिल्ली की मंडी में हुई। माना जा रहा है पाकिस्तान के बड़े आलू व्यापारियों के दबाव में पाकिस्तान सरकार ने यह फैसला किया है। हालांकि पाकिस्तान के लिए टमाटर की आपूर्ति पहले की तरह ही जारी है और इसमें कोई कमी नहीं आयी है।

इन दिनों रोजाना 10 ट्रक (100-130 टन) टमाटर पाकिस्तान भेजा जा रहा है। आलू कारोबारियों के मुताबिक सड़क मार्ग से यानी कि बाघा बार्डर के रास्ते इन दिनों रोजाना 70-80 ट्रक आलू पाकिस्तान भेजे जा रहे थे।

एक ट्रक पर 10-13 टन आलू होते हैं। इस लिहाज से रोजाना कम से कम 700-800 टन आलू का निर्यात पाकिस्तान के लिए किया जा रहा था। कारोबारियों ने बताया कि भारत से इतनी मात्रा में आलू भेजे जाने के कारण पाकिस्तान के आलू व्यापारियों को नुकसान उठना पड़ रहा था।

क्योंकि भारत से मात्र 2-2.25 रुपये प्रति किलोग्राम की दर से आलू निर्यात किया जा रहा था। बताया जा रहा है कि पाकिस्तान के बड़े आलू कारोबारियों के दबाव में ही वहां की सरकार ने आलू निर्यात पर 25 फीसदी का शुल्क लगा दिया।

आजादपुर मंडी के आलू कारोबारी सुभाष कहते हैं, ‘गुरुवार को पंजाब से आने वाले आलू की मात्रा काफी अधिक रही।’ मुख्य रूप से अमृतसर व जालंधर के आलू की आपूर्ति पाकिस्तान के लिए की जा रही थी।

उन्होंने यह भी कहा कि पाकिस्तान जाने वाले आलू की आपूर्ति देसी मंडी में होने से आलू की कीमत में और गिरावट की संभावना बन गयी है।

पंजाब में तो आलू की बिक्री अब 2 रुपये प्रति किलोग्राम से भी कम दर पर होगी। दिसंबर के आखिरी सप्ताह में पंजाब की मंडियों में आलू की कीमत 508 रुपये प्रति क्विंटल थी, लेकिन नए आलू की आवक तेज होने से जनवरी के पहले सप्ताह में यह कीमत 195 रुपये प्रति क्विंटल के स्तर पर चली गयी।

निर्यात में तेजी के कारण पंजाब के आलू में थोड़ी मजबूती आयी थी और यह 204 रुपये प्रति क्विंटल के स्तर पर पहुंच गया था। लेकिन अब यह कीमत 190 रुपये प्रति क्विंटल से भी नीचे जा सकती है।

दिल्ली की मंडी में इन दिनों आलू की कीमत 2.35 रुपये प्रति क्विंटल के स्तर पर है, लेकिन पंजाब से आलू की आवक में बढ़ोतरी के कारण दिल्ली की मंडी में भी इसके भाव 220-210 रुपये प्रति क्विंटल के स्तर पर आ सकते हैं।

कारोबारी कहते हैं कि पाकिस्तान सरकार के इस फैसले से पंजाब के आलू किसानों की हालत और खराब हो जाएगी। पहले से ही उन्हें लागत से भी कम कीमत पर आलू बेचना पड़ रहा था।

कारोबारियों के मुताबिक आलू किसानों को राहत देने के लिए सरकार को दुबई व श्रीलंका जैसे देश में भी आलू निर्यात के रास्ते को तैयार करना चाहिए।

कुछ साल पहले पाकिस्तान भारत से आलू मंगाकर उसे श्रीलंका निर्यात कर रहा था। उनका कहना है कि दुबई के बाजार में भी भारत के आलू की मांग है।

First Published - January 15, 2009 | 10:08 PM IST

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