शिकागो में पहली बार चावल की कीमत 25 डॉलर प्रति 100 पाउंड के पार चली गई।
कीमत में यह बढ़ोतरी इस आशंका के चलते हुई कि कुछ और देश चावल के निर्यात पर प्रतिबंध लगा सकते हैं और इस वजह से सप्लाई पर निश्चित रूप से असर पड़ेगा।
बताया जा रहा है कि ब्राजील चावल के निर्यात पर मात्रात्मक पाबंदी लगा सकता है ताकि घरेलू बाजार में चावल का स्टॉक बना रहे। ब्राजील के कृषि मंत्री ने कहा कि सरकार चावल उत्पादकों के साथ इस बात का समझौता करने पर विचार कर रही है ताकि देश में आने वाले सालों में चावल की पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित हो सके।
पूरी दुनिया में मुख्य खाद्यान्न के रूप में मशहूर चावल की कीमत लगभग दोगुनी हो गई है क्योंकि चीन, वियतनाम और मिस्र ने घरेलू बाजार में चावल की पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए निर्यात पर पाबंदी लगा दी। इस साल गेहूं, मक्का और सोयाबीन में भी रेकॉर्ड उछाल आया है और इस वजह से कुछ देशों मसलन हैती और मिस्र में सामाजिक तनाव पैदा हो गया।
तोक्यो के एक रिसर्च संस्थान के डिप्टी मैनेजर ने बताया कि सामाजिक तनाव का दायरा और बढ़ने की संभावना है और यही वजह है कि विभिन्न देशों की प्राथमिकता में खाद्य सुरक्षा को मुख्य रूप से शामिल हुई है।
उन्होंने कहा कि अगर चावल की कीमत इस स्तर पर बरकरार रहती है तो फिर एशिया और अफ्रीका के कई इलाकों में सामाजिक तनाव बढ़ेगा।शिकागो बोर्ड ऑफ ट्रेड में जुलाई डिलिवरी वाला कच्चा चावल गुरुवार को एक फीसदी चढ़कर 25.07 डॉलर प्रति 100 पाउंड पर पहुंच गया।