कार बाजार के लिए वित्त वर्ष का आखिरी महीना मिला जुला साबित हुआ। मारुति को तो नुकसान झेलना पड़ा, लेकिन देश की दूसरे नंबर की कार निर्माता कंपनी हुंडई मोटर्स ने गजब की रफ्तार पकड़ी।
इस कोरियाई कंपनी ने इस महीने बिक्री में बिक्री दूसरे नंबर की कार निर्माता कोरियन कंपनी हुंडई मोटर्स ने कारों की बिक्री में 66 फीसदी का इजाफा दर्ज किया। पिछले साल आई-10 के लांच होने के बाद इन आंकड़ों में जबरदस्त वृद्धि हुई है। इस साल कंपनी ने मार्च में 47,000 कार बेचीं। पिछले साल मार्च में यह आंकड़ा 28,239 ही था। हुंडई मोटर्स इंडिया लिमिटेड के प्रबंध निदेशक एच एच लीम ने कहा, हम अपनी बिक्री सबसे ज्यादा बढ़ने से बेहद खुश हैं।
कंपनी की नई कार अच्छा कर रही है और बहुत लोकप्रिय हो रही है। हमारा नया संयंत्र लगने के बाद कंपनी न केवल देश बल्कि विदेश में भी लोगों की बढ़ती मांग को पूरा करने की स्थिति में होगी।लेकिन नैनो और जगुआर-लैंड रोवर से तहलका मचाने वाली टाटा मोटर्स?को सबसे ज्यादा नुकसान उठाना पड़ा है। पिछले साल मार्च के मुकाबले इस साल मार्च में इसकी कारों की बिक्री में लगभग 4 फीसदी की कमी आई है।
टाटा ने घरेलू बाजार में इस साल मार्च तक लगभग 24,737 कारें बेचीं, जबकि पिछले मार्च 2007 में कंपनी ने लगभग 25,760 कारें बेची थीं। कंपनी की मुख्य ब्रांड इंडिका की बिक्री में 14.7 फीसदी की गिरावट दर्ज की है। मार्च तक इंडिका की मात्र 13,042 कार ही बिक पाई है।
इसके उलट जनरल मोटर्स?ने बिक्री में 51 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की। महिंद्रा ऐंड महिंद्रा की बिक्री में भी इजाफा हुआ, मगर यह महज एक फीसदी रहा।होंडा सिएल कार्स इंडिया की बिक्री भी मार्च में बढ़ी। उसमें 4.8 फीसदी का ही इजाफा हो सका, लेकिन कंपनी इससे खुश है।