दवा निर्माण क्षेत्र की अमेरिकी कंपनी एबोट लैबोरेट्रीज ने भारतीय दवा कंपनी डॉ रेड्डीज लैबोरेट्रीज के खिलाफ मुकदमा दायर कर दिया है।
एबोट ने भारतीय कंपनी पर मिर्गी के इलाज में इस्तेमाल होने वाली उसकी दवा डिपाकोट ईआर के पेटेंट का उल्लंघन करने का आरोप लगाया है। एबोट को इस दवा की बिक्री से लगभग 60 अरब की कमाई होती है। सूत्रों के मुताबिक एबोट ने यह मुकदमा पिछले हफ्ते ही न्यूजर्सी जिला अदालत में दायर किया है।
इसके अलावा कंपनी ने अमेरिका की खाद्य एवं दवा प्रशासन (एफडीए) के पास भी रेड्डीज लैबोरेट्रीज के खिलाफ पेटेंटेड दवा का जेनेरिक संस्करण बाजार में उतारने का आरोप लगाया है। अमेरिकी कानून के मुताबिक अगर नियामक संस्था दूसरी कंपनी को उस दवा को बनाने की हरी झंडी दे देती है तो दवा ईजाद करने वाली कंपनी का उस कंपनी के खिलाफ आवेदन खारिज हो जाता है।
इसीलिए दवा ईजाद करने वाली कंपनी को जेनेरिक दवा बनाने वाली कंपनी के खिलाफ 45 दिनों के भीतर ही मुकदमा दायर करना होता है। पेटेंट विशेषज्ञ वरूण चोकर ने बताया, ‘अगर इसका फैसला डॉ रेड्डीज लैबोरेट्रीज के पक्ष में आता है तो भी कंपनी को इससे कुछ ज्यादा फायदा नहीं होगा।