त्योहारी सीजन से दिल्ली सरकार का खजाना भर गया है। त्योहारों पर बड़े पैमाने पर कारोबार होता है। ऐसे में त्योहारों के अवसर पर हुई बिक्री से दिल्ली सरकार की जीएसटी वसूली में इजाफा हुआ है। नवंबर महीने में भी दिल्ली सरकार के जीएसटी संग्रह में बढोतरी दर्ज की गई।
देश में जुलाई महीने से त्योहारी कारोबार की शुरूआत हो जाती है और दीवाली तक चलता है। इस साल दीवाली नवंबर महीने के शुरूआत में थी।
दिल्ली सरकार को जुलाई—नवंबर महीने की अवधि में करीब 12,790 करोड रुपये की जीएसटी वसूली हुई है। पिछली समान अवधि में 11,325 करोड रुपये की जीएसटी वसूली हुई थी। इस तरह त्योहारी सीजन वाले महीनों में पिछले साल की तुलना में जीएसटी वसूली में करीब 13 फीसदी बढोतरी दर्ज की गई।
इस बीच, नवंबर महीने में जीएसटी संग्रह में 17 फीसदी इजाफा हुआ है। दिल्ली सरकार को नवंबर महीने में करीब 2,670 करोड रुपये जीएसटी प्राप्त हुआ, जो पिछले साल नवंबर में प्राप्त 2,280 करोड रुपये से 17 फीसदी अधिक है।
हालांकि यह वृद्धि दर पड़ोसी राज्यों की तुलना में जरूर कम रही। पड़ोसी राज्यों में नवंबर महीने में हरियाणा के जीएसटी संग्रह में 44 फीसदी, राजस्थान के जीएसटी संग्रह में 29 फीसदी और उत्तर प्रदेश के जीएसटी संग्रह में 24 फीसदी इजाफा हुआ।
दिल्ली सरकार ने अपने बजट में चालू वित्त के लिए 31,500 करोड़ रुपये जीएसटी वसूली का लक्ष्य रखा है। पिछले वित्त वर्ष में दिल्ली सरकार को लक्ष्य से भी ज्यादा जीएसटी मिला था।
वर्ष 2022-23 के लिए 26,000 करोड़ रुपये जीएसटी वसूली का लक्ष्य रखा था। लेकिन वसूली करीब 28,500 करोड़ रुपये की हुई। इस तरह चालू वित्त वर्ष के लक्ष्य को हासिल करने के लिए जीएसटी संग्रह में करीब 10.50 फीसदी की वृद्धि दर की जरूरत है।
अब तक जीएसटी वसूली वृद्धि दर इससे ज्यादा ही है। इस तरह सरकार आसानी से जीएसटी वसूली के लक्ष्य को हासिल कर सकती है।