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जीएसटी संग्रह रिकॉर्ड ऊंचाई पर

Last Updated- December 11, 2022 | 7:25 PM IST

अप्रैल महीने में वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) संग्रह 1.68 लाख करोड़ रुपये के रिकॉर्ड आंकड़े पर पहुंच गया। 2017 में जीएसटी व्यवस्था लागू होने के बाद से पहली बार कर संग्रह 1.5 लाख करोड़ रुपये के पार गया है।
वित्त मंत्रालय द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार मार्च के 1.42 लाख करोड़ रुपये जीएसटी संग्रह से करीब 25,000 करोड़ रुपये अधिक राजस्व अप्रैल महीने में प्राप्त हुआ। भू-राजनीतिक संकट के बावजूद जीएसटी संग्रह में इजाफा आर्थिक गतिविधियों में सुधार का संकेत है। जुलाई 2021 से जीएसटी प्राप्ति 1.10 लाख करोड़ रुपये से ऊपर बनी हुई है।
अप्रैल के आंकड़े मार्च में हुए लेनदेन के होते हैं। विशेषज्ञों ने कहा कि अप्रैल में वित्त वर्ष खत्म होने से कर समायोजन की वजह से भी संग्रह ज्यादा हुआ है। हालांकि आने वाले महीनों में भी कर संग्रह में वृद्घि जारी रहेगी।
मंत्रालय ने कहा कि कर अनुपालन के सख्त उपायों और जीएसटी चोरी एवं फर्जी बिलों पर रोक के उपायों से जीएसटी संग्रह में इजाफा हुआ है। मंत्रालय ने कहा, ‘करदाताओं को समय पर कर रिटर्न जमा करने के लिए कहने, अनुपालन को सुगम बनाने तथा गड़बड़ी करने वाले करदाताओं पर सख्त प्रवर्तन कार्रवाई की कर प्राशासन की पहल का नतीजा ज्यादा राजस्व प्राप्ति के रूप में सामने आया है।’ अप्रैल का जीएसटी संग्रह पिछले साल अप्रैल के 1.39 लाख करोड़ रुपये से 20 फीसदी अधिक है। केंद्रीय जीएसटी संग्रह 33,159 करोड़ रुपये, राज्य जीएसटी 41,793 करोड़ रुपये और एकीकृत जीएसटी 81,939 करोड़ रुपये रहा। इसके अलावा उपकर 10,649 करोड़ रुपये रहा। अप्रैल में आयातित वस्तुओं से कर राजस्व 30 फीसदी अधिक रहा और घरेलू लेनदेन से कर प्राप्ति 17 फीसदी बढ़ी है।
वित्त मंत्रालय ने कहा कि फरवरी में 6.8 करोड़ ई-वे बिल जारी किए गए थे जबकि मार्च में इससे 13 फीसदी ज्यादा 7.7 करोड़ ई-वे बिल जारी किए गए, जो कारोबारी गतिविधियों में तेज सुधार को दर्शाता है। अप्रैल में जीएसटीआर-3बी में 1.06 करोड़ जीएसटी रिटर्न भरे गए जबकि मार्च में 97 लाख रिटर्न भरे गए थे। अप्रैल में 84.7 फीसदी पंजीकृत कारोबारियों ने जीएसटीआर-3बी भरकर कर का भुगतान किया है। एक साल पहले की समान अवधि में 78.3 फीसदी पंजीकृत कारोबारियों ने कर चुकाया था।
मंत्रालय ने कहा कि अप्रैल में 20 अप्रैल को 9.58 लाख लेनदेन में एक दिन में सबसे अधिक 57,847 करोड़ रुपये का जीएसटी प्राप्त हुआ।
डेलॉयट इंडिया में पार्टनर एमएस मणि ने कहा, ‘सभी प्रमुख राज्यों में 9 से 25 फीसदी ज्यादा कर प्राप्तियां हुई हैं। 1.06 करोड़ जीएसटी रिटर्न, 7.7 करोड़ ई-वे बिल जारी होना डेटा एनालिटिक्स के जरिये कर चोरी पर अंकुश लगाने का नतीजा है।’
इक्रा की मुख्य अर्थशास्त्री अदिति नायर ने कहा कि भू-राजनीतिक तनाव के बावजूद जीएसटी संग्रह में बढ़ोतरी मजबूत आर्थिक गतिविधि का संकेत है।

First Published - May 2, 2022 | 12:34 AM IST

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