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India Energy Week 2025: रूसी तेल संकट के बीच नई सप्लाई और बड़े ऊर्जा सौदों की उम्मीद

रूसी तेल प्रतिबंधों के बीच भारत नई आपूर्ति की तलाश में, हरदीप पुरी बोले- दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा ऊर्जा कार्यक्रम

Last Updated- February 10, 2025 | 10:20 PM IST
Crude oil prices and transportation costs will increase due to US sanctions अमेरिकी प्रतिबंध से कच्चे तेल के दाम व ढुलाई लागत में होगी वृद्धि

रूसी कच्चे तेल पर हालिया प्रतिबंधों के बाद मंगलवार से शुरू होने वाले इंडिया एनर्जी वीक (आईईडब्ल्यू 2025) के दौरान विदेशी कंपनियों से आपूर्ति सौदे होने की उम्मीद है। पेट्रोलियम मंत्रालय के अधिकारियों ने सोमवार को ऐसे संकेत दिए हैं। पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि चार दिवसीय यह कार्यक्रम मंत्रिस्तरीय और मुख्य कार्य अधिकारियों की भागीदारी, प्रदर्शनी स्थल और सत्रों की संख्या के लिहाज से विश्व का दूसरा सबसे बड़ा ऊर्जा कार्यक्रम होने वाला है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी वर्चुअल तरीके से इसका उद्घाटन करेंगे।

उल्लेखनीय है कि फिलहाल, भारत में कच्चे तेल के आयातक रूस के मुकाबले वैकल्पिक स्रोतों से आपूर्ति बढ़ाने के लिए संघर्षरत हैं। अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति जो बाइडन द्वारा कार्यकाल के आखिरी दिनों में रूस पर लगाए गए कड़े प्रतिबंधों से रियायती कच्चे तेल तक भारत की पहुंच कम हो सकती है, जिससे भारत को बाजार कीमतों पर कच्चा तेल खरीदने के लिए मजबूर होना पड़ेगा। मगर अधिकारियों ने कहा है कि स्थिति बदल सकती है।

इस बार के इंडिया एनर्जी वीक में ऊर्जा मंत्रियों के एक बड़े दल के शामिल होने की उम्मीद है। कार्यक्रम में कतर के ऊर्जा मंत्री साद शेरिदा अल काबी और ब्रिटेन के ऊर्जा एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री एडवर्ड मिलिबैंड सहित अन्य लोगों के शामिल होने और पुरी के साथ द्विपक्षीय वार्ता करने की उम्मीद है। वैश्विक कंपनियों के मुख्य कार्य अधिकारियों के साथ-साथ तंजानिया, जिबूती, लाइबेरिया और कॉन्गो के ऊर्जा मंत्री भी इस चार दिवसीय कार्यक्रम में शिरकत करेंगे।

पिछले दो वर्षों से बेंगलूरु और गोवा में होने वाले इस कार्यक्रम का तीसरा संस्करण दिल्ली में होने वाला है। सरकार को उम्मीद है कि इस कार्यक्रम से दुनिया भर में भारत को ऊर्जा के बड़े खरीदार के बजाय ऊर्जा के प्रमुख नीति निर्धारक के रूप में मजबूती मिलेगी। बैटरी भंडारण, दूसरी और तीसरी पीढ़ी के जैव ईंधन, ग्रीन अमोनिया और ग्रीन हाइड्रोजन जैसे क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा। साल 2024 के 18 के मुकाबले इस साल 20 थीमेटिक श्रेणियों को शामिल किया गया है, जो आर्टिफिशल इंटेलिजेंस, डिजिटलीकरण और समुद्र में कार्बन मुक्त करने जैसे अत्याधुनिक मुद्दों को ध्यान में रखा गया है।

सम्मेलन में हाइड्रोजन, नवीकरणीय ऊर्जा, जैव ईंधन और पेट्रोकेमिकल्स पर ध्यान केंद्रित करने वाले आठ क्षेत्रों के अलावा अमेरिका, ब्रिटेन, रूस, जापान, जर्मनी और नीदरलैंड जैसे देशों के पविलियन भी बनाए जाएंगे। इस साल आयोजन स्थल का क्षेत्र भी बढ़ाकर 28 हजार वर्ग मीटर कर दिया गया है, जिससे ऊर्जा क्षेत्र से संबंधित वाहन, प्रौद्योगिकी और उपकरणों की प्रदर्शनी भी लगाई जा सकेगी। इस साल का इंडिया एनर्जी वीक 1 लाख वर्ग मीटर से अधिक क्षेत्र को कवर करेगा। पिछले साल 2024 के मुकाबले इस बार प्रदर्शनी स्थल में 65 फीसदी का इजाफा किया गया है। इसके अलावा 70,000 से अधिक प्रतिनिधियों के भी हिस्सा लेने की उम्मीद है, जो एक साल पहले के मुकाबले 55 फीसदी अधिक हैं।

First Published - February 10, 2025 | 10:20 PM IST

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