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Manufacturing PMI: मई में मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर लगातार तीसरे महीने सुस्त, तेज गर्मी से घटा उत्पादन

HBFC द्वारा जारी पर्चेजिंग मैनेजर्स इंडेक्स (PMI) के आंकड़ों से पता चलता है कि विनिर्माण क्षेत्र मई में घटकर 57.5 पर आ गया, जो अप्रैल में 58.8 था।

Last Updated- June 03, 2024 | 10:03 PM IST
PMI Data: India's manufacturing sector regained momentum in October due to strong demand मजबूत मांग के कारण भारत के मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर ने अक्टूबर में फिर गति हासिल की

Manufacturing PMI in May 2024: मई में भारत के विनिर्माण क्षेत्र की वृद्धि दर सुस्त होकर 3 महीने के निचले स्तर पर पहुंच गई। तेज गर्मी की वजह से उत्पादन घटा है और नए ऑर्डर व उत्पादन में वृद्धि भी सुस्त रही है। इसके बावजूद विनिर्माण बढ़ रहा है। सोमवार को HBFC द्वारा जारी पर्चेजिंग मैनेजर्स इंडेक्स (PMI) के आंकड़ों से पता चलता है कि विनिर्माण क्षेत्र मई में घटकर 57.5 पर आ गया, जो अप्रैल में 58.8 था।

सर्वे में कहा गया है, ‘कंपनियों ने संकेत दिए कि भीषण गर्मी के कारण काम के घंटे कम कर दिए गए, जिसकी वजह से उत्पादन की मात्रा प्रभावित हुई। नए ऑर्डर भी धीमी रप्तार से बढ़े। लेकिन अंतरराष्ट्रीय बिक्री 13 साल में सबसे तेज रफ्तार से बढ़ी है।’50 से ऊपर सूचकांक के आंकड़े विस्तार और इससे नीचे संकुचन के संकेतक हैं।

वृद्धि की गति थोड़ी सुस्त होने के बावजूद पहली तिमाही में भारत का विनिर्माण क्षेत्र मजबूती से विस्तार की ओर रहा है। वृद्धि को नए कारोबारी लाभ, मजबूत मांग, मार्केटिंग की सफल कवायदों से समर्थन मिला है।

सर्वे में कहा गया है, ‘नए ऑर्डर उल्लेखनीय रूप से बढ़े हैं, भले ही 3 महीने में सबसे सुस्त रहे हैं। यह बढ़ोतरी मार्केटिंग की कवायदों, मांग में मजबूती और अनकूल आर्थिक स्थितियों की वजह से है। कथित प्रतिस्पर्धा और चुनाव से जुड़े व्यवधानों के कारण वृद्धि पर असर पड़ा।’

बहरहाल अगर निर्यात की स्थिति देखें तो नए निर्यात ऑर्डर मईमें तेजी से बढ़े हैं। यह तेजी 13 साल में सर्वाधिक है। फर्मों को अफ्रीका, एशिया, अमेरिका, यूरोप और पश्चिम एशिया के ग्राहकों से समर्थन मिला है।

एचएसबीसी में चीफ इंडिया इकोनॉमिस्ट प्रांजुल भंडारी ने कहा कि विनिर्माण मई में विस्तार के क्षेत्र में बना रहा, भले ही इसमें सुस्ती रही है।

उन्होंने कहा, ‘इसके विपरीत नए निर्यात ऑर्डर पिछले 13 साल में सबसे तेज बढ़े हैं। यह हर भौगोलिक क्षेत्र से व्यापक मांग के कारण हुआ। मूल्य के मोर्चे पर देखें तो कच्चे माल की कीमत ज्यादा होने व ढुलाई बढ़ने से इनपुट लागत बढ़ी है। विनिर्माता इसका एक हिस्सा ही ग्राहकों पर डालने में कामयाब हुए हैं, जिसकी वजह से उनका विनिर्माण मुनाफा कम हुआ है। सकारात्मक खबर यह है कि मई में विनिर्माण फर्मों की धारणा बहुत बेहतर रही, इसके कारण नौकिरियों के सृजन में वृद्धि हुई है।’

नौकरियों के सृजन के मोर्चे पर सर्वे में कहा गया है कि बिक्री बेहतर रहने और तेज वृद्धि के अनुमान के कारण मई में नौकरियों के सृजन को बल मिला और विनिर्माण रोजगार मार्च 2005 के बाद से सबसे तेज बढ़ा है।

First Published - June 3, 2024 | 10:03 PM IST

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