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मियाद के साथ शुल्क में बदलाव

Last Updated- December 12, 2022 | 6:38 AM IST

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आज कहा कि 1 अक्टूबर 2021 के बाद शुल्क में बदलाव की किसी भी अधिसूचना के साथ मियाद भी दी जाएगी। उन्होंने कहा कि सरकार अगले महीने से भागीदारों के साथ मिलकर सीमा शुल्क और डंपिंग रोधी शुल्क को तर्कसंगत बनाने का काम शुरू करेगी।
राज्य सभा में वितत्त विधेयक पर चर्चा के दौरान जवाब देते हुए सीतारमण ने कहा कि उन्होंने बजट में घोषणा की थी कि सरकार सीमा शुल्कों और अन्य ऐसे शुल्क को तर्कसंगत बनाएगी, जो बीते वर्षों में डंपिंग को रोकने के लिए लागू किए गए हैं।
 सीतारमण ने कहा कि दशकों पहले घोषित डंपिंग रोधी शुल्क के खत्म होने की कोई तारीख नहीं है, जिसके नतीजतन वे बरकरार हैं। उन्होंने कहा कि सरकार 1 अप्रैल से भागीदारों के साथ बातचीत करेगी ताकि यह समीक्षा की जा सके कि ऐसा शुल्क फायदेमंद है या नुकसान पहुंचा रहा है।
उन्होंने कहा, ‘अगर कोई दशकों पुराना डंपिंग रोधी शुल्क या अन्य कोई अधिसूचना के संबंध में शुल्क बढ़ाने या घटाने की जरूरत पड़ी तो हम यह काम करेंगे। लेकिन अब हमने एक ऐसी व्यवस्था बनाई है, जिसमें ऐसी कोई अधिसूचना एक मियाद के साथ जारी होगी।’
उन्होंने कहा कि अर्थव्यवस्था को मजबूत बनाने के लिए उठाए गए कदमों का ही नतीजा है कि कोरोना संकट के दौरान आर्थिक मोर्चे पर कोई प्रतिकूल प्रभाव नहीं पड़ा। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना के तहत 80 करोड़ लोगों को आठ माह तक मुफ्त राशन दिया गया। उन्होंने कहा, यह बड़ी बात है। वित्त मंत्री ने कहा कि बैंकों की गैर निष्पादित आस्तियां घट कर मार्च 2020 में 8.99 लाख करोड़ रुपए रह गईं। उन्होंने कहा कि पूर्ववर्ती संप्रग सरकार के शासनकाल में अर्थव्यवस्था का समुचित तरीके से प्रबंधन नहीं किया गया था। उन्होंने कहा कि 2014 से 2019 के दौरान सकल घरेलू उत्पाद की वृद्धि दर 7.5 फीसदी थी जो 2009 से 2014 के दौरान 6.7 फीसदी थी।

First Published - March 24, 2021 | 11:44 PM IST

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