Buddha Purnima Bank Holiday: दुनियाभर में हर साल बुद्ध पूर्णिमा धूम-धाम से मनाई जाती है। भगवान बुद्ध को मामने वाले लोगों के लिए यह दिन काफी पवित्र होता है। इसी तिथि को गौतम बुद्ध ने लुम्बिनी में जन्म लिया था और इसीलिए बुद्धि पूर्णिमा को बुद्ध जयंती भी कहा जाता है। इस त्योहार को मनाने के लिए देश के कई राज्यों या बड़े शहरों के कई सरकारी और प्राइवेट संस्थान बंद रहते हैं। ऐसे में अगर आप बैंक जाने का इरादा बना रहे हैं तो जरूरी यह है कि पहले रिजर्व बैंक (RBI) की तरफ से जारी हॉलिडे कैंलेंडर देख लें और जान लें कि कहीं आप जिस ब्रांच में जा रहे हैं, वह बंद तो नहीं है।
बुद्ध पूर्णिमा या बुद्ध जयंती 23 मई 2024 को पूरे देश में मनाई जाएगी। इस दिन देश के कई राज्यों के सभी बैंक बंद रहेंगे। चाहें वह सरकारी बैंकों में सबसे बड़ा SBI हो या प्राइवेट बैंकों में सबसे बड़ा HDFC Bank। इस बीच, अगर आपको किसी भी तरह का ट्रांजैक्शन करना है तो आपको एक दिन और इंतजार करना पड़ेगा। 24 मई को बैंक खुलेंगे और 25 मई को दो वजहों से कई जगहों पर बैंक फिर बंद हो जाएंगे। हालांकि, आप चाहें तो ऑनलाइन बैंकिंग का फायदा पूरा उठा सकते हैं। UPI, नेट बैंकिंग जैसी सुविधाओं का बिना किसी रुकावट के यूज कर सकते हैं। इसके अलावा अगर कैश की जरूरत भी है तो कोई परेशान होने वाली बात नहीं है, ATM आपके घर के करीब ही कहीं होगा।
RBI की तरफ से जारी हॉलिडे लिस्ट यानी छुट्टियों की सूची में बताया गया है कि देश के कुछ राज्यों के बैंकों की शाखाएं बुद्ध पूर्णिमा के दिन यानी 23 मई को बंद रहेंगी। इसमें मिजोरम, त्रिपुरा, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, चंडीगढ़, उत्तराखंड, अरुणाचल प्रदेश, जम्मू, श्रीनगर, उत्तर प्रदेश, बंगाल, नई दिल्ली, छत्तीसगढ़, हिमाचल प्रदेश और झारखंड के सभी बैंक शामिल हैं।
लोक सभा चुनाव के पांच चरण पूरे हो चुके हैं। छठें चरण का मतदान 25 मई को है। इसी दिन नजरुल जयंती भी है। ऐसे में त्रिपुरा और ओडिशा के सभी बैंक बंद रहेंगे। गौरतलब है कि 25 मई को चौथा शनिवार भी है यानी महीने का दूसरा सेकंस सटर्डे।
वैशाख पूर्णिमा तिथि को मनाया जाने वाला त्योहार यानी बुद्ध पूर्णिमा पूरी दुनिया में न सिर्फ बौद्ध धर्म के अनुयायियों के लिए सबसे पवित्र दिन है, बल्कि भारतीय सभ्यता में भी इसका काफी योगदान रहा है। सभी धर्मों के लोग बुद्ध को अपना आदर्श मानते हैं। इस दिन ऐसा माना जाता है कि यह अन्य दिनों की अपेक्षा तीन गुना ज्यादा पवित्र होता है। ऐसा इसलिए क्योंकि इसी तिथि को ही भगवान बुद्ध का जन्म हुआ, इसी तिथि को उन्हें ज्ञान की प्राप्ति हुई और इसी तिथि को ही उनका कुशीनगर में महापरिनिर्वाण हुआ।