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RBI ने केंद्र को सौंपी वैलिड लोन ऐप्स की व्हाइट लिस्ट, फर्जी कर्ज देने वालों पर RBI गवर्नर ने दिया बयान

RBI के द्वारा बैंकों और NBFC से लोन ऐप्स की एक लिस्ट जुटाई गई थी और इसे इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी मंत्रालय को दे दी गई थी।

Last Updated- January 12, 2024 | 4:59 PM IST

रिजर्व बैंक (RBI) अवैध रूप से चल रहे लोन ऐप पर शिकंजा कसने के लिए पूरी तरह से तैयार है। गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा कि केंद्रीय बैंक ने वैलिड लोन ऐप की लिस्ट तैयार कर ली है और उसे केंद्र सरकार को सौंप दिया है। RBI के इस कदम का मकसद अवैध लोन देने वाले ऐप्स पर लगाम कसना है।

गुरुवार को मिंट अखबार की तरफ से आयोजित BFSI Summit को संबोधित करते हुए गवर्नर दास ने लोन ऐप पर चर्चा की और इसके साथ ही साथ क्रिप्टोकरेंसी और डिजिटल पेमेंट UPI को लेकर भी चर्चा की। उन्होंने इस दौरान लोन ऐप को लेकर कहा कि RBI के द्वारा रेगुलेटेड सभी संस्थाओं जैसे- बैंक और गैर बैंकिंग फाइनैंस कंपनियों (NBFC) से लोन ऐप्स की एक लिस्ट जुटाई गई थी और इसे इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी मंत्रालय को दी गई थी।

पहले भी सरकार को RBI देती रही है लिस्ट

दास ने कहा, ‘समस्या अवैध लोन देने वाले ऐप्स के साथ है। हम पहले ही सरकार के साथ एक लिस्ट शेयर कर चुके हैं।’

उन्होंने कहा कि जब भी केंद्रीय बैंक को कोई समस्या दिखती है, तो वह उसके बारे में सरकार के संबंधित मंत्रालयों और कानून प्रवर्तन एजेंसियों को जानकारी देता हैं। अवैध लोन देने वाले ऐप्स के खिलाफ उचित कदम उठाने के लिए इन एजेंसियों के बीच समन्वय बैठकें नियमित रूप से आयोजित की जाती हैं।

लोन फ्ड से बचने के लिए उठाए गए कदम

गौरतलब है कि सरकार और संबंधित संस्थाओं की तरफ से समय-समय पर लोन फ्रॉड को लेकर एडवाइजरी जारी होती रहती है, लेकिन कई सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर अवैध रूप से लोन बांटने वाले ऐप दिख जाते हैं और उस जाल में इन फ्रॉड के बारे में न जानने वाले लोग फंस जाते हैं।

RBI सक्रिय रूप से इन ऐप्स पर ध्यान बनाए रखती है औऱ मामला पकड़ में आने पर कार्रवाई भी की जाती है। मिंट की समिट में गवर्नर दास ने बताया कि RBI ने मंत्रालय को लोन देने वाले ऐप्स की व्हाइट लिस्ट यानी जो वैलिड ऐप हैं और उनसे कोई खतरा नहीं है, उनकी लिस्ट सौंपी है। ऐसा इसलिए किया गया है ताकि अवैध लोन ऐप को आसानी से पकड़ा जा सके।

लोन को लेकर गवर्नर दास ने कहा- algorithms और AI पर भरोसा करने से बचें

गवर्नर शक्तिकांत दास ने समिट के दौरान यह भी कहा कि भारतीय वित्तीय संस्थानों को लोन के लिए ग्राहकों का आकलन करने के लिए एल्गोरिदम (algorithms) और ऑटिफिशियल इंटेलीजेंस पर भरोसा करने से बचना चाहिए।

दास ने इस दौरान कहा, मॉडल बेस्ड एल्गोरिदम कर्ज ‘संभावित संकट का कारण बन सकता है’। उन्होंने कहा, बैंकों और NBFCs को ‘उधार देने के लिए इस्तेमाल किए जाने वाले मॉडल की मजबूती का मूल्यांकन करना चाहिए’।

अनसिक्योर्ड लोन पर कड़े नियम से बदलेगी स्थिति

गौरतलब है कि RBI ने वित्तीय स्थिरता में सुधार के मद्देनजर हाल के महीनों में अनसिक्योर्ड लोन पर प्रतिबंध कड़े कर दिए हैं। नवंबर में, इसने बैंकों द्वारा अनसिक्योर्ड लोन देने की पूंजी लागत बढ़ा दी, और इसके बाद कर्जदाताओं को वैकल्पिक निवेश फंडों में निवेश को कम करने, या उन एसेट के खिलाफ भारी प्रावधान लागत लागू करने निर्देश दिया।

First Published - January 12, 2024 | 4:59 PM IST

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