भारत, अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया और जापान के क्वाड समूह ने मुक्त, खुले और समावेशी हिंद-प्रशांत क्षेत्र का लक्ष्य हासिल करने तथा आतंकवाद जैसे साझा खतरों से मिलकर निपटने के लिए मजबूती से काम करने का शुक्रवार को आह्वान किया। चारों देशों के विदेश मंत्रियों ने सीमा पार आतंकवाद की भी निंदा की और कहा कि अफगानिस्तान की जमीन का इस्तेमाल किसी देश को धमकाने या हमला करने के लिए नहीं किया जाना चाहिए। क्वाड देशों के विदेश मंत्रियों की चौथी बैठक में यूक्रेन संकट पर भी चर्चा की गई और अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने कहा कि यदि रूस पूर्वी यूरोपीय राष्ट्र के प्रति और आक्रामकता पर आगे बढ़ता है तो उसे ‘व्यापक परिणामों’ का सामना करना पड़ेगा तथा वाशिंगटन इस मुद्दे को हल करने के लिए कूटनीति और बातचीत के दृष्टिकोण का अनुसरण कर रहा है। विदेश मंत्री एस. जयशंकर, अमेरिका के विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन, जापान के विदेश मंत्री योशिमासा हयाशी और ऑस्ट्रेलियाई विदेश मंत्री मारिस पायने ने मेलबर्न में वार्ता की।
क्वाड ने कहा कि समूह की पहल के तहत कोविड-19 रोधी टीकों की पहली खेप का वितरण 2022 की पहली छमाही में हो जाएगा। इसके साथ ही समूह के विदेश मंत्रियों ने भारत के एक प्रतिष्ठान में टीकों के उत्पादन में तेज प्रगति पर संतोष व्यक्त किया। विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा कि सुरक्षित और सस्ते टीकों के वितरण में तेजी लाने, क्षमता निर्माण में वृद्धि और अंतिम व्यक्ति तक टीका वितरण के लिए बुनियादी ढांचा बढ़ाने पर सहमति हुई। इस संबंध में एक संयुक्त बयान में कहा गया, ‘एक साथ, हमने विश्वस्तर पर 1.3 अरब से अधिक टीका खुराक दान करने का संकल्प लिया है। हम भारत में बायोलॉजिकल ई लिमिटेड प्रतिष्ठान में टीका उत्पादन के विस्तार में क्वाड टीका भागीदारी की तेज से प्रगति से प्रसन्न हैं, जिसका उद्देश्य 2022 के अंत तक कम से कम एक अरब टीके वितरित करना है।’