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हौसला नहीं बढ़ा पाए शुरुआती नतीजे, कंपनी जगत के लिए निराशाजनक अप्रैल-जून तिमाही

अभी तक इस तिमाही के नतीजे जारी करने वाली कंपनियों की आय में 10 साल में सबसे कम इजाफा हुआ है।

Last Updated- July 23, 2023 | 10:40 PM IST
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कंपनी जगत के लिए चालू वित्त वर्ष की अप्रैल-जून तिमाही निराशाजनक तरीके से शुरू हुई। अभी तक इस तिमाही के नतीजे जारी करने वाली कंपनियों की आय में 10 साल में सबसे कम इजाफा हुआ है। बैंक, वित्त और बीमा (बीएफएसआई) को छोड़कर बाकी क्षेत्रों में कंपनियों की आय काफी गिरी है। आंकड़ों से संकेत मिलता है कि भारतीय कंपनी जगत आय और मुनाफे में वृद्धि के लिए अब पूरी तरह से बीएफएसआई और आईटी क्षेत्र पर निर्भर हो गया है। अन्य क्षेत्रों में ठहराव के संकेत नजर आ रहे हैं।

समीक्षाधीन तिमाही में बैंक, वित्त और बीमा तथा आईटी क्षेत्र की कंपनियों का मुनाफा बढ़ा है मगर अन्य क्षेत्रों का मुनाफा पिछले साल की समान तिमाही और जनवरी-मार्च 2023 तिमाही की तुलना में कम हुआ है। बिज़नेस स्टैंडर्ड के नमूने में अभी तक नतीजे जारी करने वाली 220 कंपनियां शमिल हैं, जिनका कुल बाजार पूंजीकरण सभी सूचीबद्ध कंपनियों का करीब एक-तिहाई है।

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वित्त वर्ष 2024 की पहली तिमाही में इन 220 कंपनियों का शुद्ध मुनाफा (अप्रत्या​शित लाभ और घाटा शामिल कर) पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही के 87,107 करोड़ रुपये से 10.7 फीसदी बढ़कर 96,418 करोड़ रुपये रहा। मगर इस बढ़ोतरी में ज्यादातर योगदान निजी क्षेत्र के बड़े बैंकों (एचडीएफसी बैंक और आईसीआईसीआई बैंक) तथा शीर्ष आईटी कंपनियों जैसे टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज, इन्फोसिस, एचसीएल टेक तथा विप्रो आदि का रहा।

बीएफएसआई और आईटी को छोड़ दें तो हमारे नमूने में शामिल प्रमुख कंपनियां रिलायंस इंडस्ट्रीज, हिंदुस्तान यूनिलीवर, जेएसडब्ल्यू स्टील, वेदांत, हिंदुस्तान जिंक, अल्ट्राटेक सीमेंट, हैवल्स इंडिया, टाटा कम्युनिकेशंस तथा यूनाइटेड स्पिरिट्स हैं। बीएसएफएसआई और आईटी क्षेत्र को हटाने के बाद नमूने में बची 144 कंपनियों का कुल शुद्ध मुनाफा 31,697 करोड़ रुपये रहा, जो अप्रैल-जून 2022 के 34,560 करोड़ रुपये के मुकालबे 8.3 फीसदी कम रहा। इन 144 कंपनियों का कुल मुनाफा लगातार 4 तिमाही से गिर रहा है।

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दूसरी ओर वित्त वर्ष 2024 की पहली तिमाही में बैंकों का कुल शुद्ध मुनाफा साल भर पहले के मुकाबले 30 फीसदी बढ़ा है, जबकि पिछली तिमाही में इसमें 24.1 फीसदी वृद्धि ही हुई थी। इसी तरह आईटी कंपनियों का कुल शुद्ध मुनाफा पिछले साल की समान तिमाही के मुकाबले 12.8 फीसदी बढ़ा है, जो इससे पिछली तिमाही में 11.6 फीसदी बढ़ा था। हमारे नमूने में शामिल कंपनियों की कुल शुद्ध मुनाफा वृद्धि में बैंकों और आईटी फर्मों की हिस्सेदारी 65 फीसदी रही।

आंकड़ों से पता चलता है कि बीएफएसआई से बाहर की कंपनियों शुद्ध मुनाफा पिछली 10 तिमाही में मुश्किल से ही बढ़ा है और 58,000 करोड़ रुपये के दायरे में रहा है। इस श्रेणी की 166 कंपनियों का कुल शुद्ध मुनाफा वित्त वर्ष 2024 की पहली तिमाही में 57,948 करोड़ रुपये रहा, जो वित्त वर्ष 2023 की पहली तिमाही में 57,840 करोड़ रुपये और वित्त वर्ष 2022 की पहली तिमाही में 54,640 करोड़ रुपये रहा था।

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विश्लेषकों के मुताबिक बीएफएसआई और आईटी के अलावा दूसरे क्षेत्रों की फर्मों की कमाई कम बढ़ने तथा आय वृद्धि में नरमी बनी रहने से वित्त वर्ष 2024 में कंपनियों की आय पर सवाल खड़े होते हैं। कंपनियों की कमाई में बड़ी गिरावट मुख्य रूप से आय वृद्धि में लगातार नरमी की वजह से आई है।

220 कंपनियों की कुल शुद्ध बिक्री (बीएफएसआई कंपनियों के मामले में सकल ब्याज आय) चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में 9 फीसदी बढ़ी है, जो पिछली 10 तिमाही में सबसे कम वृद्धि है। इसकी तुलना में इन कंपनियों की शुद्ध बिक्री वित्त वर्ष 2023 की पहली तिमाही में 31.8 फीसदी और चौथी तिमाही में 12.2 फीसदी बढ़ी थी।

बीएफएसआई और आईटी कंपनियों को छोड़ दें तो बाकी कंपनियों की आय वृद्धि में और ज्यादा कमी दिखती है। चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में गैर-बीएफएसआई कंपनियों की कुल बिक्री 2.9 फीसदी बढ़ी।

First Published - July 23, 2023 | 10:40 PM IST

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