एक बड़े सार्वजनिक क्षेत्र के शाखा प्रबंधक के अनुसार इस समय 1 करोड से 5 करोड़ तक की जमा राशि पर ब्याज दर 10.5 से 11 प्रतिशत केबीच है जबकि यह दर पहले 9 प्रतिशत थी। इसकेअलावा एक करोड तक की जमा राशि पर 10.5 प्रतिशत तक का ब्याज दर दिया जा रहा है जबकि पहले यह दर 8.5-9 प्रतिशत के बीच था। जहां तक अन्य बैंकों की बात है तो कमोबेश वहां भी इसी तरह की स्थिति है। दिल्ली विकास प्राधिकरण इसका एक उदाहरण है। एक दूसरे सार्वजनिक क्षेत्र के वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि बैंक केद्वारा अप्लीकेशन मनी 10 प्रतिशत की ब्याज दर पर दिया जा रहा था जिबकि डीडीए बैंक में इसी राशि को जमा करने केलिए बैंक से 11.5 प्रतिशत की ब्याज दर की मांग कर रहा था। एक बैंकर ने कहा कि फंड जुटाने के सस्ते संसाधन में कमी आती जा रही है, यहां तक कि सरकारी कंपनियां भी सरकार की उस सलाह को नहीं मान रही है जिसकेतहत इन कंपनियों को अपने सरप्लस का 60 प्रतिशत सार्वजिनक क्षेत्र के बैंकों में जमा करने केलिए कहा गया था। । गौरतलब है कि चालू और बचत खाते जिसपर कि बैंक की नजर रहती है वह भी अब सस्ते नहीं रह गए हैं। यद्यपि अधिकारिक दर 3.5 प्रतिशत की है लेकिन ज्यादातर बैंक 25,000 रुपये से ज्यादा बैलेंस पर 6-7 प्रतिशत का ब्याज दे रहें हैं।