अदाणी ग्रुप की कंपनी अदाणी पोर्ट्स ऐंड स्पेशल इकॉनमिक जोन (Adani Ports & SEZ ) ने बुधवार को एक बड़ा ऐलान किया है। कंपनी ने कहा कि वह 2024 में मैच्योर होने वाले 195 मिलियन डॉलर के बॉन्ड्स को टेंडर ऑफर के जरिये बॉयबैक करेगी। कंपनी ने 27 सितंबर को यह जानकारी देते हुए बताया कि वह इस खरीदारी की फंडिंग अपने पास रखे कैश रिजर्व से करेगी।
11 अक्टूबर तक टेंडर किए गए डेट के लिए, कंपनी 1,000 डॉलर के हर मूलधन यानी प्रिसिपल पर 975 डॉलर का भुगतान करेगी। इसके बाद ऑफर की कीमत 1,000 डॉलर के मुकाबले कम होकर 965 डॉलर हो जाएगी।
कंपनी की तरफ से इस ऑफर के ऐलान के बाद इसके शेयरों में उछाल देखा गया। सुबह 10: 19 बजे कंपनी के शेयर BSE पर 0.66 प्रतिशत की बढ़ोतरी के साथ 826.25 रुपये प्रति शेयर हो गए। वहीं, NSE पर भी कंपनी के शेयरों में 0.46 प्रतिशत की उछाल देखी गई और इसके शेयर 825.15 रुपये पर पहुंच गए।
मनीकंट्रोल की रिपोर्ट के मुताबिक, पिछले छह महीनों में, Adani Ports & SEZ का स्टॉक सेंसेक्स बेंचमार्क के 14 प्रतिशत के मुकाबले 31 प्रतिशत चढ़ गया है। इस साल की शुरुआत में, हिंडनबर्ग रिपोर्ट जारी होने के बाद, स्टॉक ने 3 मार्च को 52-सप्ताह के निचले स्तर 394 रुपये प्रति शेयर को छू लिया था, जबकि 16 नवंबर, 2022 को यह 52-सप्ताह के उच्चतम स्तर 916 रुपये प्रति शेयर पर पहुंच गया।
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अदाणी की कंपनी ने 2024 तक बकाया 3.37 प्रतिशत सीनियर नोट खरीदने के लिए कैश टेंडर ऑफर लॉन्च किया है। कंपनी चाहती है कि वह छोटे पीरियड में मैच्योर होने वाले अपने डेट का आंशिक पेमेंट कर दे। गौरतलब है कि कुछ ही महीनों में नोट्स के लिए ये कंपनी की दूसरा टेंडर ऑफर होगा। पहला ऑफर कंपनी ने मई में 130 मिलियन डॉलर के नोटों का निपटान करने के लिये किया था।
अदाणी ग्रुप हाल के महीनों में हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट के बाद निवेशकों का विश्वास फिर से जीतने की कोशिश कर रहा है, जिसमें आरोप लगाया गया है कि कॉरपोरेट गड़बड़ी के कारण उसके बाॉन्ड और शेयरों में बिकवाली हुई है। अदाणी के अधिकारियों ने बार-बार आरोपों से इनकार किया है।
ब्लूमबर्ग द्वारा कंबाइन्ड कीमतों से पता चलता है कि हिंडनबर्ग द्वारा कंपनी पर आरोप पब्लिश करने के बाद फरवरी में डॉलर के मुकाबले बॉन्ड्स 85.8 के लेवल पर फिसल चुके थे। लेकिन, अब ये नोट्स सुधर चुके हैं और बुधवार को डॉलर के मुकाबले 96.4 सेंट के स्तर पर ट्रेड करते दिखे।
बॉन्ड बायबैक कंपनियों को बॉन्डहोल्डर्स को टेंडर ऑफर के माध्यम से डेट को दोबारा खरीदने की अनुमति देता है। जिससे वे कुछ या सभी सिक्योरिटीज को उनकी नियत तारीख से पहले रिटायर करने में सक्षम होते हैं।
अदाणी के इस ऐलान ने ग्लोबल ट्रेंड को उलट दिया है। ब्याज दरें तेजी से बढ़ने के बाद कंपनियां कम डेट की दोबारा खरीद कर रही हैं। कम कूपन वाले बॉन्ड को लंबे समय तक रखने का मतलब है कि उन्हें इसके बदले ज्यादा महंगा नया डेट नहीं लेना पड़ेगा।
ब्लूमबर्ग द्वारा जुटाए गए डेटा के मुताबिक, अगले साल जुलाई में देय बांड का प्रिंसिपल यानी मैच्योर होने वाले बॉन्ड की रकम 520 मिलियन बकाया है। टेंडर ऑफर न्यूयॉर्क में 26 अक्टूबर को शाम 5:00 बजे खत्म हो रहा है।