बिहार में विनाशकारी बाढ़ जैसे हालात में किसानों को राहत देने के लिए एक निजी बीमा कंपनी विशेष पेशकश करने जा रही है जो ऐसी संभावित प्राकृतिक आपदाओं के लिए विशेष तौर पर डिजाइन की गई है।
आईसीआईसीआई लोम्बार्ड के प्रमुख (ग्रामीण कारोबार) प्रणव प्रसाद ने बताया, ‘ बिहार में बाढ़ जैसे हालात के लिए हम आपदा से संबध्द उत्पादों की पेशकश करेंगे। हम ऐसे उत्पाद विकसित करने की प्रक्रिया में हैं।’ उन्होंने कहा कि किसानों के लिए हम मौसम बीमा, पशु बीमा और स्वास्थ्य बीमा जैसे उत्पादों की पेशकश कर रहे हैं। इन पालिसी में संभावित वित्तीय नुकसान की कुछ राशि को कवर किया जाता है।
प्रसाद ने कहा कि आईसीआईसीआई लोम्बार्ड राजस्थान, पंजाब, हरियाणा, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, आंध्र प्रदेश, कर्नाटक, तमिलनाडु, महाराष्ट्र, उड़ीसा, पश्चिम बंगाल और उत्तर प्रदेश के गांवों में अपने बीमा उत्पादों की पेशकश कर रही है।
ग्रामीण बीमा बाजार और आईसीआईसीआई लोम्बार्ड की इसमें हिस्सेदारी के बारे में पूछने पर प्रसाद ने कहा कि कंपनी भारत के ग्रामीण इलाकों में बीमा उत्पादों की पेशकश करने में अग्रणी रही है। यह कंपनी की वित्तीय समावेशीकरण के व्यापक उद्देश्य के तहत किया जा रहा प्रयास है। कंपनी सामाजिक एवं आर्थिक रूप से पिछड़े वर्ग तक पहुंच बना रही है। साथ ही सुदूरवर्ती इलाकों में रहने वाले लोगों को भी कवर किया जा रहा है।
राहत अभियान जोरों पर
बिहार सरकार के अपर आयुक्त प्रत्यय अमृत ने बताया है कि सहायता शिविरों में अभी तक 2.57 लाख विस्थापितों को ठहराया गया है। इसके अलावा करीब 9.14 लाख लोगों को सेना ने सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया है। इस बीच बाढ़ से करीब 3.10 लाख मकानों के क्षतिग्रस्त होने की खबर है। अमृत ने बताया कि वायुसेना के हैलीकॉप्टरों द्वारा अब तक एक लाख से अधिक खाने के पैकेट को विभिन्न जिलों में गिराया जा चुका है।
बांटी गई राहत सामग्री
12,866 ली. केरोसिन तेल
85.05 लाख नकद सहायता
14,537 क्विं. खाद्यान्न
18.25 क्विं. नमक
435.5 क्विं. सत्तू
1,46,125 दियासलाई
2,09,018 मोमबत्ती