गृहमंत्री अमित शाह ने शुक्रवार को राजधानी भोपाल के जंबूरी मैदान में वन उपज संग्राहक सम्मेलन को संबोधित करते हुए वर्ष 2023 के विधानसभा चुनावों की तैयारी शुरू होने का संकेत दे दिया। इस मौके पर उन्होंने मुख्मयंत्री शिवराज सिंह चौहान की भी जमकर तारीफ की। शाह ने कहा कि देश में पहली बार किसी सरकार ने आदिवासियों को जंगल का मालिक बनाया है और चौहान का यह कदम अनुकरणीय है। शाह ने कहा कि मुख्मयंत्री चौहान गरीब से गरीब व्यक्ति को अधिकार संपन्न बनाने के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सपने के अनुरूप ही काम कर रहे हैं। इस अवसर पर दोनों नेताओं ने आदिवासियों को लाभांश वितरण किया। इस अवसर पर शाह ने कहा कि प्रदेश में बड़ी तादाद में आदिवासी समुदाय के लोग रहते हैं और बिना इनके कल्याण के प्रदेश का कल्याण नहीं हो सकता।
शाह ने कहा कि प्रदेश में एक ही बार में 827 वन ग्रामों को राजस्व ग्रामों में तब्दील किया गया है और यह कदम आदिवासी समुदाय के लोगों के जीवन में बड़ा परिवर्तन लाने वाला माना जा रहा है। उन्होंने कहा कि पहली बार किसी राज्य की सरकार ने आदिवासियों को जंगलों का मालिक बनाने का काम किया है। जंगल से उत्पन्न होने वाले हर उत्पाद की बिक्री का 20 फीसदी हिस्सा वन समितियों को देकर सरकार ऐसा होना सुनिश्चित करेगी।
छह माह पूर्व प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी राजधानी भोपाल में जनजातीय गौरव दिवस के अवसर पर आदिवासियों के एक बड़े जलसे को संबोधित किया था। मध्य प्रदेश की आबादी में अनुसूचित जनजाति की आबादी 20 फीसदी से अधिक है और सत्ताधारी दल के नेताओं के इन कदमों को आगामी विधानसभा चुनाव की तैयारियों से जोड़कर देखा जा रहा है। प्रदेश में अगले वर्ष विधानसभा चुनाव होने हैं।
मुख्मयंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि वन ग्रामों को राजस्व ग्राम में बदलने से प्राकृतिक आपदा की स्थिति में समुचित मुआवजे के अधिकारी होंगे, उनकी जमीन के खाते बनेंगे, खसरा नक्शा बनेगा और जमीन का नामांतरण करवाना संभव होगा।