अक्टूबर-दिसंबर 2024 में समाप्त तीसरी तिमाही में अदाणी एंटरप्राइजेज का संयुक्त शुद्ध लाभ 96.9 फीसदी घट गया। कंपनी के कोयला कारोबार और खनन व्यवसाय की बिक्री घटने से मुनाफे पर दबाव पड़ा। कंपनी ने वित्तीय लागत में भारी वृद्धि दर्ज की है। कंपनी ने कहा कि तिमाही परिणामों में ऑस्ट्रेलियाई डॉलर में कमजोरी के कारण ऑस्ट्रेलिया में खनन की वित्तीय लागत में विदेशी मुद्रा संबंधी मार्क टू मार्केट नुकसान का असर शामिल है।
तिमाही के दौरान कंपनी ने 58 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ कमाया जबकि पिछले साल की इसी अवधि में यह आंकड़ा 1,888 करोड़ रुपये था। इस अवधि में राजस्व 8.8 फीसदी घटकर 22,848 करोड़ रुपये रह गया। तिमाही में वित्तीय लागत भी बढ़कर 2,141 करोड़ रुपये हो गई जो एक साल पहले के 597 करोड़ रुपये की तुलना में तीन गुना से ज्यादा है। तिमाही आधार पर कंपनी का शुद्ध लाभ 96.7 फीसदी घट गया और राजस्व में 1.1 फीसदी तक का इजाफा हुआ। कंपनी का पीबीआईडीटी सालाना आधार पर 3,723 करोड़ रुपये पर सपाट बना रहा।
निवेशकों को अपनी रिपोर्ट में कंपनी ने कहा है कि उसके पुराने व्यवसायों की आय इंटिग्रेटेड रिसोर्सेज मैनेजमेंट (आईआरएम) व्यवसाय में कमजोरी और विदेशी मुद्रा में मार्क टू मार्केट नुकसान की वजह से प्रभावित हुई। आईआरएम कंपनी के कोयला खनन और कारोबार खंड से जुड़ा व्यवसाय है जिसका राजस्व 8,979.61 करोड़ रुपये रहा जो एक साल पहले के 16,021.04 करोड़ रुपये से कम है। कंपनी के वाणिज्यिक खनन व्यवसाय को भी 419.52 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ जबकि एक साल पहले उसे 274.01 करोड़ रुपये का लाभ हुआ था।
अदाणी पोर्ट्स का मुनाफा 14 प्रतिशत बढ़कर 2,518 करोड़ रुपये हुआ
अदाणी पोर्ट्स ऐंड स्पेशल इकनॉमिक जोन (एपीएसईजेड) का एकीकृत शुद्ध लाभ चालू वित्त वर्ष की अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में 14 प्रतिशत बढ़कर 2,518.39 करोड़ रुपये हो गया है। कंपनी ने बताया कि आमदनी बढ़ने से उसके मुनाफे में वृद्धि हुई है। पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में कंपनी का शुद्ध लाभ 2,208.21 करोड़ रुपये रहा था। एपीएसईजेड ने शेयर बाजार को बताया कि उसकी कुल आमदनी चालू वित्त वर्ष की तीसरी तिमाही में बढ़कर 8,186.90 करोड़ रुपये हो गई, जो पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में 7,426.95 करोड़ रुपये थी। कंपनी का कुल खर्च दिसंबर तिमाही में बढ़कर 5,190.53 करोड़ रुपये रहा, जो पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में 4,588.10 करोड़ रुपये था।
दिसंबर तिमाही में गेल के मुनाफे में आई 36 प्रतिशत की उछाल
सार्वजनिक क्षेत्र की गैस कंपनी गेल (इंडिया) लिमिटेड का शुद्ध लाभ चालू वित्त वर्ष की दिसंबर तिमाही में 36 प्रतिशत बढ़ा है। कंपनी ने बताया कि करार होने के बावजूद माल की आपूर्ति नहीं करने के लिए एक विदेशी एलएनजी आपूर्तिकर्ता से मिले मुआवजे के कारण उसे एकमुश्त लाभ हुआ। भारत की सबसे बड़ी गैस परिवहन और विपणन कंपनी ने शेयर बाजारों को यह जानकारी दी।
कंपनी ने वित्त वर्ष 2024-25 की अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में 3,867.38 करोड़ रुपये का एकल शुद्ध लाभ दर्ज किया। एक साल पहले इसी अवधि में यह आंकड़ा 2,842.62 करोड़ रुपये था। समीक्षाधीन तिमाही में गेल का परिचालन राजस्व 34,957.76 करोड़ रुपये पर लगभग स्थिर रहा। इस दौरान सभी तीन प्रमुख व्यावसायिक क्षेत्रों – प्राकृतिक गैस और एलपीजी परिवहन सेवाएं, प्राकृतिक गैस विपणन और पेट्रोरसायन ने पिछले साल के समान राजस्व की सूचना दी।
डाबर का शुद्ध लाभ 1.85 प्रतिशत बढ़कर 516 करोड़ रुपये हुआ
रोजमर्रा के उपभोग का सामान बनाने वाली (एफएम सीजी) कंपनी डाबर इंडिया का एकीकृत शुद्ध लाभ चालू वित्त वर्ष की तीसरी तिमाही में 1.85 प्रतिशत बढ़कर 515.82 करोड़ रुपये रहा। कंपनी ने पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में 506.44 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ कमाया था। समीक्षाधीन तिमाही में कंपनी की परिचालन आय तीन प्रतिशत बढ़कर 3,355.25 करोड़ रुपये हो गई, जो पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में 3,255.06 करोड़ रुपये थी।
टाटा कंज्यूमर का लाभ 6.5 प्रतिशत घटकर 282 करोड़ रुपये रहा
रोजमर्रा के उपभोग का सामान (एफएमसीजी) बनाने वाली प्रमुख कंपनी टाटा कंज्यूमर प्रोडक्ट्स लिमिटेड (टीसीपीएल) का एकीकृत शुद्ध मुनाफा दिसंबर, 2024 को समाप्त तीसरी तिमाही में 6.5 प्रतिशत घटकर 281.92 करोड़ रुपये रह गया। टीसीपीएल ने शेयर बाजारों को यह जानकारी दी है। कंपनी ने एक साल पहले अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में 301.51 करोड़ रुपये का एकीकृत शुद्ध मुनाफा अर्जित किया था। समीक्षाधीन तिमाही के दौरान कंपनी की परिचालन आय 16.81 प्रतिशत बढ़कर 4,443.56 करोड़ रुपये हो गई। एक साल पहले की समान अवधि में यह 3,803.92 करोड़ रुपये थी। करोड़ रुपये हो गया।
डॉ लाल पैथलैब्स का करोपरांत लाभ 19 प्रतिशत और राजस्व 10.7 प्रतिशत बढ़ा
देश की सबसे बड़ी डायग्नोस्टिक श्रृंखला डॉ लाल पैथलैब्स ने वित्त वर्ष 25 की तीसरी तिमाही के दौरान करोपरांत लाभ (पीएटी) में 19.3 प्रतिशत का इजाफा दर्ज किया है और यह बढ़कर 98 करोड़ रुपये हो गया। इसका राजस्व 10.7 प्रतिशत बढ़कर 597 करोड़ रुपये हो गया। तिमाही के दौरान एबिटा 9.6 प्रतिशत तक बढ़कर 443 करोड़ रुपये हो गया। कंपनी ने कहा कि मुख्य बाजारों में गहरी पैठ तथा पश्चिम और दक्षिण में नए क्षेत्रों में समन्वित विस्तार के जरिये वॉल्यूम आधारित वृद्धि हासिल की गई है। वित्त वर्ष 25 की तीसरी तिमाही के दौरान पश्चिमी क्षेत्र ने दिल्ली की इस कंपनी के कुल राजस्व में 15 प्रतिशत का योगदान किया।