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Dharavi Redevelopment: अदालत ने Adani Group को टेंडर दिए जाने के खिलाफ दायर याचिका की खारिज

अदालत ने कहा, ‘‘ याचिका में उठाए गए आधारों में दम नहीं है। सरकार के निविदा को रद्द करने और नई निविदा पेश करने के कदम को चुनौती देने में वह विफल रही।’’

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भाषा   
Last Updated- December 20, 2024 | 12:44 PM IST

बंबई उच्च न्यायालय ने मुंबई में धारावी झुग्गी बस्ती पुनर्विकास परियोजना को अदाणी प्रॉपर्टीज प्राइवेट लिमिटेड को दिए जाने के खिलाफ दायर याचिका को शुक्रवार को खारिज कर दिया। संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) स्थित सेकलिंक टेक्नोलॉजीज कॉरपोरेशन ने यह याचिका दायर की थी जिसमें अदाणी प्रॉपर्टीज प्राइवेट लिमिटेड को परियोजना देने के राज्य सरकार के फैसले को चुनौती दी गई थी।

मुख्य न्यायाधीश डी. के. उपाध्याय और न्यायमूर्ति अमित बोरकर की खंडपीठ ने कहा कि याचिका का कोई आधार नहीं है इसलिए इसे खारिज किया जाता है। अदाणी समूह ने 259 हेक्टेयर धारावी पुनर्विकास परियोजना के लिए सबसे अधिक बोली लगाई थी। 2022 की निविदा प्रक्रिया में 5,069 करोड़ रुपये की पेशकश के साथ उसने इसे हासिल किया था।

सेकलिंक टेक्नोलॉजीज कॉरपोरेशन ने 2018 की निविदा को रद्द करने और उसके बाद 2022 में अदाणी को निविदा देने को चुनौती दी थी।

अदालत ने कहा, ‘‘ याचिका में उठाए गए आधारों में दम नहीं है। सरकार के निविदा को रद्द करने और नई निविदा पेश करने के कदम को चुनौती देने में वह विफल रही।’’

First Published : December 20, 2024 | 12:26 PM IST (बिजनेस स्टैंडर्ड के स्टाफ ने इस रिपोर्ट की हेडलाइन और फोटो ही बदली है, बाकी खबर एक साझा समाचार स्रोत से बिना किसी बदलाव के प्रकाशित हुई है।)