विदेश मंत्री एस जयशंकर ने सोमवार को कहा कि ग्लोबल साउथ ‘मानसिकता, एकजुटता और आत्मनिर्भरता’ से संबंधित है। जयशंकर ने ‘नाइजीरियन इंस्टिट्यूट ऑफ इंटरनेशनल अफेयर्स’ (NIIA) में ‘भारत और ग्लोबल साउथ’ विषय पर चर्चा को संबोधित करते हुए कहा कि आज वैश्विक एजेंडा पुनर्संतुलन और बहुध्रुवीयता को बढ़ावा देना है ताकि दुनिया को उसकी प्राकृतिक विविधता के साथ स्थापित किया जा सके।
उन्होंने कहा, ‘‘समसामयिक चुनौतियां प्रभुत्व के पुराने रूपों के साथ-साथ नए आर्थिक संकेंद्रण से उत्पन्न होती हैं… ग्लोबल साउथ एक ‘मानसिकता, एकजुटता और आत्मनिर्भरता’ से संबंधित है।’’
मंत्री ने कहा कि पिछले दशक में हुए बदलाव ने ‘‘भारत को एक उदाहरण, भागीदार और योगदानकर्ता बनने में सक्षम बनाया है।’’
‘ग्लोबल साउथ’ का इस्तेमाल उन देशों के लिए किया जाता है जो विकासशील और अल्पविकसित हैं तथा अधिकतर दक्षिणी गोलार्ध में अवस्थित हैं।
जयशंकर युगांडा और नाइजीरिया के दौरे के अंतिम चरण में नाइजीरिया पहुंचे हैं। वह युगांडा में अयोजित गुटनिरपेक्ष आंदोलन (NAM) शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेने के बाद रविवार को नाइजीरिया की राजधानी अबुजा पहुंचे।