facebookmetapixel
Test Post कैश हुआ आउट ऑफ फैशन! अक्टूबर में UPI से हुआ अब तक का सबसे बड़ा लेनदेनChhattisgarh Liquor Scam: पूर्व CM भूपेश बघेल के बेटे चैतन्य को ED ने किया गिरफ्तारFD में निवेश का प्लान? इन 12 बैंकों में मिल रहा 8.5% तक ब्याज; जानिए जुलाई 2025 के नए TDS नियमबाबा रामदेव की कंपनी ने बाजार में मचाई हलचल, 7 दिन में 17% चढ़ा शेयर; मिल रहे हैं 2 फ्री शेयरIndian Hotels share: Q1 में 19% बढ़ा मुनाफा, शेयर 2% चढ़ा; निवेश को लेकर ब्रोकरेज की क्या है राय?Reliance ने होम अप्लायंसेस कंपनी Kelvinator को खरीदा, सौदे की रकम का खुलासा नहींITR Filing 2025: ऑनलाइन ITR-2 फॉर्म जारी, प्री-फिल्ड डेटा के साथ उपलब्ध; जानें कौन कर सकता है फाइलWipro Share Price: Q1 रिजल्ट से बाजार खुश, लेकिन ब्रोकरेज सतर्क; क्या Wipro में निवेश सही रहेगा?Air India Plane Crash: कैप्टन ने ही बंद की फ्यूल सप्लाई? वॉयस रिकॉर्डिंग से हुआ खुलासाPharma Stock एक महीने में 34% चढ़ा, ब्रोकरेज बोले- बेचकर निकल जाएं, आ सकती है बड़ी गिरावट

Oil prices: मजबूत अमेरिकी उत्पादन के संकेत से तेल में गिरावट

कमजोर डॉलर से तेल मांग बढ़ सकती है, क्योंकि इससे खरीदारों के लिए अन्य मुद्राओं के जरिये कच्चा तेल खरीदना सस्ता हो जाएगा।

Last Updated- November 15, 2023 | 10:51 PM IST
Earnings of oil marketing companies will increase in the fourth quarter!

दुनिया के सबसे बड़े तेल उत्पादक अमेरिका में उत्पादन चरम पर रहने के संकेतों के बीच बुधवार को तेल कीमतों में गिरावट आई। ब्रेंट वायदा 29 सेंट की गिरावट के साथ 82.18 डॉलर प्रति बैरल पर कारोबार कर रहा था, जबकि अमेरिकी वेस्ट टैक्सस इंटरमीडिएट (डब्ल्यूटीआई) क्रूड 32 सेंट की कमजोरी के साथ 77.94 डॉलर पर था।

चीन की आर्थिक गतिविधि अक्टूबर में बढ़ गई, क्योंकि औद्योगिक उत्पादन तेजी से बढ़ा और खुदरा बिक्री वृद्धि अनुमान से ज्यादा रही, जो दुनिया की इस दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था के लिए एक मजबूत संकेत है।

कई प्रमुख देशों में धीमी आर्थिक वृद्धि के अनुमान के बावजूद पेट्रोलियम निर्यातक देशों के संगठन और उसके सहयोगियों (ओपेक+) के साथ साथ इंटरनैशनल एनर्जी एजेंसी ने भी इस साल के लिए तेल मांग वृद्धि के अनुमान बढ़ा दिए हैं।

तेल ब्रोकर पीवीएम के जॉन इवांस ने एक रिपोर्ट में कहा कि तेल कीमतों पर दबाव आपूर्ति की वजह से देखा जा सकता है, क्योंकि अमेरिका में कच्चे तेल के लिए उत्पादन चरम पर रह सकता है, जबकि दुनिया के इस सबसे बड़े उत्पादक से तेल आंकड़ा जारी करने में विलंब होने से निवेश हालात ज्यादा अस्पष्ट हो गए हैं।

पिछले सप्ताह सिस्टम अपग्रेड के कारण हुए विलंब के बाद अमेरिकी ऊर्जा सूचना प्रशासन (ईआईए) ने दो सप्ताह में अपनी पहली तेल इन्वेंट्री रिपोर्ट बुधवार को जारी की।

कमजोर डॉलर से तेल मांग बढ़ सकती है, क्योंकि इससे खरीदारों के लिए अन्य मुद्राओं के जरिये कच्चा तेल खरीदना सस्ता हो जाएगा।

First Published - November 15, 2023 | 9:36 PM IST

संबंधित पोस्ट