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IPEF के 14 देशों ने पूरी की सप्लाई चेन पर बातचीत, समझौते में भारत भी शामिल

Last Updated- May 28, 2023 | 10:15 PM IST
निजी बंदरगाहों पर ढुलाई तेजी से बढ़ी, सरकारी बंदरगाहों की वृद्धि दर कम , Private, state ports' growth outpaces central counterparts till Q3 FY24

हिंद प्रशांत आर्थिक ढांचा (IPEF) के भारत सहित 14 सदस्यों ने लॉजिस्टिक और संपर्क में सुधार सहित आपूर्ति श्रृंखला (सप्लाई चेन) समझौते पर वार्ता को काफी हद तक पूरा कर लिया है। अमेरिका के वाणिज्य विभाग ने एक बयान में कहा है कि मंत्रिस्तरीय बैठक में यह उल्लेखनीय प्रगति हुई है।

आपूर्ति श्रृंखला समझौते का लक्ष्य संकट के समय तालमेल में सुधार करना, आपूर्ति श्रृंखला के व्यवधानों पर त्वरित प्रतिक्रिया देना, संकट के समय सदस्य देशों में प्रभावित वस्तुओं की समय से आपूर्ति सुनिश्चित करने में मदद करना शामिल है।

अमेरिका के वाणिज्य विभाग ने एक बयान में कहा है, ‘IPEF के साझेदार घरेलू स्तर पर परामर्श और कानूनी समीक्षा करने समय जरूरी कदम उठाएंगे, जिससे कि प्रस्तावित IPEF आपूर्ति श्रृंखला समझौते की अंतिम रूपरेखा तैयार की जा सके। एक बार जब इसे अंतिम रूप दे दिया जाएगा, तो प्रस्तावित समझौता IPEF साझेदारों द्वारा इस पर हस्ताक्षर करने की स्थिति पर निर्भर होगा और उसके बाद इसको समर्थन, स्वीकृति या मंजूरी मिल सकेगी। ‘

बहरहाल इस बयान में IPEF साझेदार देशो द्वारा निर्यात पर प्रतिबंध और शुल्क में बदलाव को लेकर पहले से नोटिस देने की अमेरिका की ओर से की गई मांग का कोई जिक्र नहीं किया गया है। बिजनेस स्टैंडर्ड ने 8 मई को खबर दी थी कि भारत ने इस मांग को लेकर चिंता जताई है, क्योंकि इससे सरकार के लिए नीतिगत स्वतंत्रता कम हो जाएगी।

IPEF की चर्चा में केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से शामिल हुए।

भारत के वाणिज्य मंत्रालय ने एक बयान में कहा, ‘इस मंत्रिस्तरीय बैठक में आपूर्ति श्रृंखला (पिलर-2) पर बातचीत उल्लेखनीय रूप से पूरी कर ली गई है। वहीं अन्य IPEF पिलर्स के तहत भी अच्छी प्रगति हुई है। आपूर्ति श्रृंखला को लेकर हस्तक्षेप करते हुए पीयूष गोयल ने वार्ता में शामिल दल की प्रशंसा करते हुए कहा कि वार्ता का काम तेजी से पूरा किया गया है। आपस मं फायदमंद समझौता से अर्थव्यवस्थाएं नजदीकी से जुड़ सकेंगी और IPEF के भीतर आपूर्ति/मूल्य श्रृंखला दुरुस्त होगी। साथ ही उन्होंने इस समझौते के तहत चिह्नित सहकारी और तालमेल बिठाने वाले तत्वों को लागू करने में तेजी लाने की अपील की है।’

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स्वच्छ अर्थव्यवस्था के मसले पर हस्तक्षेप करते हुए गोयल ने कहा कि भारत कार्रवाई पर केंद्रित विषयो पर ध्यान केंद्रित करेगा, जिसमें कम लागत का दीर्घावधि जलवायु वित्तपोषण और स्वच्छ ऊर्जा तकनीकों तक पहुंच बढ़ाना शामिल है।

वाणिज्य मंत्रालय के बयान के मुताबिक 14 देशों के समूह IPEF की शुरुआत अमेरिका और भारत-प्रशांत क्षेत्र के अन्य भागीदार देशों ने मिलकर 23 मई को तोक्यो में की थी। व्यापार, आपूर्ति श्रृंखला, स्वच्छ अर्थव्यवस्था और निष्पक्ष अर्थव्यवस्था (कर और भ्रष्टाचार रोधी जैसे मुद्दे) से संबंधित चार स्तंभों के आधार पर यह ढांचा तैयार किया गया है। भारत व्यापार को छोड़कर सभी स्तंभों में शामिल हो गया है।

IPEF में ऑस्ट्रेलिया, ब्रुनेई, फिजी, भारत, इंडोनेशिया, जापान, कोरिया, मलेशिया, न्यूजीलैंड, फिलिपींस, सिंगापुर, थाईलैंड, वियतनाम और अमेरिका सहित 14 भागीदार देश शामिल हैं।

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इसका लक्ष्य क्षेत्र में विकास, शांति और समृद्धि को आगे बढ़ाने के लक्ष्य के साथ भागीदार देशों के बीच आर्थिक जुड़ाव को मजबूत करना है। इस मंत्रिस्तरीय बैठक में आपूर्ति खंडों के तहत व्यापक स्तर पर बातचीत हुई, जबकि अन्य IPEF स्तंभों के तहत भी अच्छी प्रगति दर्ज की गई है।

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आपूर्ति श्रृंखला के तहत IPEF भागीदार आपूर्ति श्रृंखला को अधिक लचीला, मजबूत और अच्छी तरह से एकीकृत बनाने की मंशा रखते हैं।

First Published - May 28, 2023 | 10:15 PM IST

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