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Fiscal Deficit: 2023-24 में संशोधित अनुमान से कम रहा राजकोषीय घाटा

अर्थशास्त्रियों को लगता है कि बढ़िया कर मिलने और भारतीय रिजर्व बैंक से उम्मीद से बहुत ज्यादा अधिशेष मिलने के कारण चालू वित्त वर्ष में खजाने की स्थिति अच्छी रहेगी।

Last Updated- May 31, 2024 | 10:32 PM IST
जारी रहेगा खजाने पर ध्यान! राजकोषीय घाटे का लक्ष्य 5.1% पर अपरिवर्तित रहने की संभावना, Budget 2024: Focus on treasury will continue! Fiscal deficit target likely to remain unchanged at 5.1%

वित्त वर्ष 2024 में अनुमान से ज्यादा कर मिलने के कारण केंद्र सरकार का राजकोषीय घाटा (Fiscal Deficit) संशोधित अनुमान से भी कम रहा। संशोधित अनुमान में सकल घरेलू उत्पाद (GDP) का 5.8 फीसदी राजकोषीय घाटा रहने की बात कही गई थी मगर आंकड़ा जीडीपी का 5.6 फीसदी रहा।

सरकारी आंकड़ों के अनुसार केंद्र के राजस्व और व्यय में 16.54 लाख करोड़ रुपये का अंतर रहा, जबकि बजट में यह अंतर 17.86 लाख करोड़ रुपये रहने का अनुमान लगाया गया था।

पिछले वित्त वर्ष के लिए राजकोषीय घाटा जीडीपी का 5.9 फीसदी रहने का शुरुआती अनुमान था, जिसे अंतरिम बजट में घटाकर 5.8 फीसदी कर दिया गया था। जब सरकार कमाई से ज्यादा खर्च कर देती है तो खजाने को घाटा यानी राजकोषीय घाटा होता है।

आंकड़ों के अनुसार वित्त वर्ष 2024 में शुद्ध कर प्राप्तियां 23.27 लाख करोड़ रुपये रहीं, जो अनुमान से ज्यादा थीं। इस दौरान सरकार का कुल खर्च 44.43 लाख करोड़ रुपये रहा, जो बजट राशि का 99 फीसदी है।

इस बीच अप्रैल में अप्रत्याशित राजस्व खर्च करने के कारण 2.1 लाख करोड़ रुपये का राजकोषीय घाटा हो गया, जो पूरे साल के लक्ष्य का 12.5 फीसदी है।

केंद्र सरकार ने वित्त वर्ष 2025 में राजकोषीय घाटे को जीडीपी के 5.1 फीसदी या 16.85 लाख करोड़ रुपये पर रोकने का लक्ष्य रखा है। 2025-26 में घाटा जीडीपी के 4.5 फीसदी पर रोकने के लिए यह जरूरी है।

अर्थशास्त्रियों को लगता है कि बढ़िया कर मिलने और भारतीय रिजर्व बैंक से उम्मीद से बहुत ज्यादा अधिशेष मिलने के कारण चालू वित्त वर्ष में खजाने की स्थिति अच्छी रहेगी।

इक्रा में मुख्य अर्थशास्त्री अदिति नायर ने कहा, ‘भारतीय रिजर्व बैंक से उम्मीद से बहुत अधिक रकम मिलने के कारण सरकार के पास खर्च करने के लिए या राजकोषीय घाटा कम करने के लिए 1 लाख करोड़ रुपये अलग से होंगे।’

First Published - May 31, 2024 | 10:23 PM IST

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