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महंगाई के मोर्चे पर बड़ी राहत, नवंबर में खुदरा मुद्रास्फीति घटकर रही 5.48%; औद्योगिक उत्पादन भी अक्टूबर में बढ़ा

राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (एनएसओ) द्वारा जारी उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (सीपीआई) के आंकड़ों के अनुसार, नवंबर में खाद्य वस्तुओं की मुद्रास्फीति घटकर 9.04 प्रतिशत रह गई।

Last Updated- December 12, 2024 | 5:32 PM IST
WPI Inflation

खुदरा मुद्रास्फीति नवंबर में घटकर 5.48 प्रतिशत पर आ गई है। अक्टूबर में यह 6.21 प्रतिशत के स्तर पर थी। इसकी मुख्य वजह खाद्य पदार्थों खासकर सब्जियों की कीमतों में नरमी है। राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (एनएसओ) द्वारा जारी उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (सीपीआई) के आंकड़ों के अनुसार, नवंबर में खाद्य वस्तुओं की मुद्रास्फीति घटकर 9.04 प्रतिशत रह गई।\

अक्टूबर में यह 10.87 प्रतिशत और नवंबर 2023 में 8.70 प्रतिशत थी। एनएसओ ने कहा, ‘‘ नवंबर, 2024 में सब्जियों, दालों चीनी व मिष्ठान्न, फलों, अंडे, दूध, मसालों, परिवहन व संचार और व्यक्तिगत देखभाल संबंधी उत्पादों की मुद्रास्फीति में उल्लेखनीय गिरावट आई।’’

सीपीआई आधारित कुल मुद्रास्फीति जुलाई-अगस्त के दौरान औसतन 3.6 प्रतिशत से बढ़कर सितंबर में 5.5 प्रतिशत और अक्टूबर, 2024 में 6.2 प्रतिशत हो गई। यह सितंबर, 2023 के बाद से सबसे अधिक है। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने चालू वित्त वर्ष 2024-25 के लिए मुद्रास्फीति अनुमान को पिछले सप्ताह 4.5 प्रतिशत से बढ़ाकर 4.8 प्रतिशत कर दिया थी। साथ ही केंद्रीय बैंक ने खाद्य कीमतों पर दबाव से दिसंबर तिमाही में कुल मुद्रास्फीति के ऊंचे स्तर पर बने रहने की आशंका भी जाहिर की थी।

औद्योगिक उत्पादन

औद्योगिक उत्पादन की वृद्धि इस साल अक्टूबर में बढ़कर 3.5 प्रतिशत पर पहुंच गई। गौर करने वाली बात है कि पिछले महीने सितंबर में यह 3.1 फीसदी था। हालांकि, पिछले साल की समान अवधि के मुकाबले इसमें गिरावट आई है। इसका मुख्य कारण खनन, बिजली और विनिर्माण क्षेत्रों का खराब प्रदर्शन है।

बृहस्पतिवार को जारी आधिकारिक आंकड़ों में यह जानकारी दी गई। औद्योगिक उत्पादन सूचकांक (आईआईपी) के संदर्भ में मापे जाने वाले कारखाना उत्पादन पिछले साल इसी महीने में 11.9 प्रतिशत की दर से बढ़ा था। एक आधिकारिक बयान में कहा गया है कि देश का औद्योगिक उत्पादन अक्टूबर, 2024 में 3.5 प्रतिशत बढ़ा है।

राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (एनएसओ) द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार, विनिर्माण क्षेत्र का उत्पादन अक्टूबर, 2024 में 4.1 प्रतिशत बढ़ा, जबकि एक साल पहले इसी महीने में इसमें 10.6 प्रतिशत की वृद्धि हुई थी। अक्टूबर, 2024 में खनन उत्पादन में 0.9 प्रतिशत और बिजली उत्पादन में दो प्रतिशत की वृद्धि हुई। अप्रैल-अक्टूबर की अवधि में, आईआईपी में चार प्रतिशत की वृद्धि हुई। पिछले वित्त वर्ष की समान अवधि में औद्योगिक उत्पादन सात प्रतिशत बढ़ा था। (भाषा के इनपुट के साथ)

First Published - December 12, 2024 | 4:53 PM IST

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