facebookmetapixel
Test Post कैश हुआ आउट ऑफ फैशन! अक्टूबर में UPI से हुआ अब तक का सबसे बड़ा लेनदेनChhattisgarh Liquor Scam: पूर्व CM भूपेश बघेल के बेटे चैतन्य को ED ने किया गिरफ्तारFD में निवेश का प्लान? इन 12 बैंकों में मिल रहा 8.5% तक ब्याज; जानिए जुलाई 2025 के नए TDS नियमबाबा रामदेव की कंपनी ने बाजार में मचाई हलचल, 7 दिन में 17% चढ़ा शेयर; मिल रहे हैं 2 फ्री शेयरIndian Hotels share: Q1 में 19% बढ़ा मुनाफा, शेयर 2% चढ़ा; निवेश को लेकर ब्रोकरेज की क्या है राय?Reliance ने होम अप्लायंसेस कंपनी Kelvinator को खरीदा, सौदे की रकम का खुलासा नहींITR Filing 2025: ऑनलाइन ITR-2 फॉर्म जारी, प्री-फिल्ड डेटा के साथ उपलब्ध; जानें कौन कर सकता है फाइलWipro Share Price: Q1 रिजल्ट से बाजार खुश, लेकिन ब्रोकरेज सतर्क; क्या Wipro में निवेश सही रहेगा?Air India Plane Crash: कैप्टन ने ही बंद की फ्यूल सप्लाई? वॉयस रिकॉर्डिंग से हुआ खुलासाPharma Stock एक महीने में 34% चढ़ा, ब्रोकरेज बोले- बेचकर निकल जाएं, आ सकती है बड़ी गिरावट

WPI Inflation: थोक महंगाई में मामूली कमी, जनवरी में मामूली घटकर 2.31 प्रतिशत; क्या रहे बड़े कारण

वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय की ओर से जारी आंकड़ों से पता चलता है कि खाद्य वस्तुओं की महंगाई दर जनवरी में घटकर 5.88 प्रतिशत रह गई।

Last Updated- February 14, 2025 | 10:47 PM IST
WPI Inflation
प्रतीकात्मक तस्वीर

थोक मूल्य सूचकांक (डब्ल्यूपीआई) पर आधारित महंगाई दर जनवरी में मामूली घटकर 2.31 प्रतिशत रह गई, जो दिसंबर में 2.37 प्रतिशत थी। सरकार की ओर से शुक्रवार को जारी आंकड़ों के मुताबिक खाद्य कीमतों में कमी और ईंधन के दाम में गिरावट जारी रहने के कारण ऐसा हुआ है। 

वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय की ओर से जारी आंकड़ों से पता चलता है कि खाद्य वस्तुओं की महंगाई दर जनवरी में घटकर 5.88 प्रतिशत रह गई, जो दिसंबर में 8.47 प्रतिशत थी।  सब्जियों (8.35 प्रतिशत), धान (6.22 प्रतिशत) और प्रोटीन वाले खाद्य जैसे अंडा, मांस और मछली (3.56 प्रतिशत) की कीमत में कमी के कारण ऐसा हुआ है।  आलू की कीमत (74.28 प्रतिशत) कम हुई है, लेकिन इसके दाम अभी भी अधिक बने हुए हैं। वहीं दूसरी ओर खाद्य वस्तुओं जैसे मोटे अनाज (7.33 प्रतिशत), गेहूं (9.75 प्रतिशत), दलहन (5.08 प्रतिशत), प्याज (28.33 प्रतिशत) और दूध (2.69 प्रतिशत) की कीमत इस महीने के दौरान बढ़ी है। 

केयर रेटिंग्स में मुख्य अर्थशास्त्री रजनी सिन्हा ने कहा कि नई फसल आने से खाद्य कीमतों में मौसमी सुधार आया है और खरीफ के बेहतर उत्पादन और रबी की बोआई में अच्छी प्रगति के कारण कृषि का परिदृश्य सकारात्मक बना हुआ है।  उन्होंने कहा, ‘आने वाले महीनों में भी खाद्य वस्तुओं की कीमतें घटेंगी, जिसकी वजह कीमत में मौसमी कमी है।’

ईंधन और बिजली श्रेणी में जनवरी में अवस्फीति (-2.78 प्रतिशत) रही। वहीं रसोई गैस की कीमत (2.33 प्रतिशत) कम हुई। पेट्रोल की कीमत (-3.64 प्रतिशत) और हाई स्पीड डीजल (-3.61 प्रतिशत) में भी माह के दौरान संकुचन रहा। 

 विनिर्मित उत्पादों की श्रेणी में महंगाई दर जनवरी में मामूली बढ़कर 2.51 प्रतिशत हो गई, जो दिसंबर में 2.14 प्रतिशत थी। इसका अधिभार 64.2 प्रतिशत है। 

इक्रा रेटिंग्स में वरिष्ठ अर्थशास्त्री राहुल अग्रवाल ने कहा कि जनवरी 2025 में तेज बढ़ोतरी के बाद फरवरी में अब तक जिंसों के वैश्विक दाम और बढ़े हैं। अमेरिका की संरक्षणवादी व्यापारिक नीतियों और अनिश्चितता के कारण ऐसा हुआ है। 

उन्होंने कहा, ‘इसकी वजह से गैर खाद्य वस्तुओं की थोक महंगाई ऊपर जाने का दबाव है। इसके अलावा डॉलर की तुलना में रुपये में गिरावट आ रही है, जिसकी वजह से आने वाले महीनों में आयातित वस्तुओं की कीमत बढ़ेगी।’

First Published - February 14, 2025 | 10:21 PM IST

संबंधित पोस्ट