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‘क्या हमें दुकानदारी ही करनी है?’ – पीयूष गोयल के बयान पर स्टार्टअप जगत नाराज, जेप्टो सीईओ और टेक लीडर्स ने किया पलटवार

वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल के भारतीय स्टार्टअप की प्राथमिकताओं पर सवाल उठाने से उद्योग में नाराजगी

Last Updated- April 04, 2025 | 10:36 PM IST
piyush goyal

भारत के स्टार्टअप समुदाय ने केंद्रीय वाणिज्य व उद्योग मंत्री पीयूष गोयल की टिप्पणी पर सख्त प्रतिक्रिया दी है। गोयल ने स्टार्टअप इकोसिस्टम के फोकस और प्राथमिकताओं को लेकर आलोचना की थी। गोयल ने नई दिल्ली में गुरुवार को स्टार्टअप महाकुंभ के दूसरे संस्करण को संबोधित करते हुए भारत और चीन के स्टार्टअप के फोकस की तुलना की थी। उन्होंने स्टार्टअप जगत से सवाल पूछा था कि क्या वे कम वेतन वाली गिग नौकरियों और सामान बेचने से ही संतुष्ट है। उन्होंने सवाल पूछा, ‘क्या हमें आइसक्रीम और चिप्स बनाने हैं। दुकानदारी ही करनी है?’ गोयल की यह टिप्पणी स्टार्टअप समुदाय को नहीं भाई।

जेप्टो के सहसंस्थापक व सीईओ आदित पालिचा ने अपनी पोस्ट में भारत के स्टार्टअप पारिस्थितिकीतंत्र का बचाव किया। उन्होंने कहा कि उपभोक्ता इंटरनेट कंपनियों की आलोचना करना और उनकी अमेरिका या चीन के तकनीकी विकास से तुलना करना आसान है। पालिचा ने अपने पोस्ट में कहा कि फिलहाज जेप्टो से 1.5 लाख लोग असलियत में अपनी आजीविका कमा रहे हैं, एक ऐसी कंपनी जिसका 3.5 वर्ष पहले अस्तित्व भी नहीं था। उन्होंने प्रोफेशनल प्लेटफॉर्म लिंक्डइन पर लिखा, ‘हर साल 1,000 करोड़ से अधिक का कर योगदान, देश में एक अरब डॉलर से अधिक का प्रत्यक्ष विदेशी निवेश लाए और इसके बैक एंड सप्लाई चेन (विशेष तौर पर फल और सब्जियों) के प्रबंधन करने में सैकड़ों करोड़ रुपये खर्च हुए। क्या यह भारत के नवोन्मेष के लिए चमत्कार नहीं है। मैं ईमानदारी से कहूं तो नहीं जानता हूं कि यह क्या है।’

पालिचा ने कहा कि भारत का बड़े पैमाने पर अपना कोई आधारभूत इंटेलिजेंस (एआई) मॉडल नहीं है। इसका कारण यह है कि भारत ने अभी बड़ी इंटरनेट कंपनियां विकसित नहीं की है। उन्होंने वैश्विक स्तर पर तकनीक के दिग्गजों जैसे एमेजॉन, गूगल और अलीबाबा का उदाहरण दिया और कहा कि इन्होंने शुरुआती तौर पर उपभोक्ता तकनीकी कंपनियों के रूप में काम शुरू किया था।

इन्फोसिस के पूर्व मुख्य वित्तीय अधिकारी मोहनदास पई ने भी गोयल की टिप्पणी की आलोचना की। पई ने एक्स पर लिखी पोस्ट में कहा, ‘मंत्री पीयूष गोयल को हमारी स्टार्टअप को कमतर नहीं आंकना चाहिए बल्कि खुद से सवाल करना चाहिए कि उन्होंने हमारे मंत्री के रूप में टेक स्टार्टअप को भारत में विकसित करने के लिए क्या किया? किसी पर उंगली उठाना आसान है। हमारे पास एक शत्रुतापूर्ण रुख रखने वाली वित्त मंत्री हैं जिन्होंने कई वर्षों तक ऐंजल टैक्स पर स्टार्टअप को परेशान किया, एंडोमेंट को निवेश करने की अनुमति नहीं दी, बीमा कंपनियां तो अभी भी निवेश नहीं करती हैं जबकि वे वैश्विक स्तर पर निवेश करती हैं। इस क्रम में भारत पे के पूर्व प्रबंध निदेशक अशनीर ग्रोवर ने एक्स पर लिखा कि भारत में जिन लोगों को अपने भीतर झांकने की जरूरत है, वे नेता ही हैं। चीन में भी पहले फूड डिलिवरी शुरू हुई और फिर वे डीप टेक में विकसित हुए।

First Published - April 4, 2025 | 10:36 PM IST

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