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बाजार हलचल: फेड की कटौती से पहले भारतीय बाजारों में बढ़ा विदेशी निवेश, बरकरार है IPO की रफ्तार

बाजार नियामक सेबी ने आरंभिक सार्वजनिक निर्गम या डीमर्जर के बाद सूचीबद्ध होने वाली कंपनियों के शेयर के पहले दिन की कीमतों को स्थिर करने के लिए नए नियम बनाए हैं।

Last Updated- September 15, 2024 | 9:21 PM IST
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पिछल हफ्ते विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (एफपीआई) ने अप्रत्याशित तौर पर भारतीय शेयर बाजारों में दांव बढ़ाया और करीब 17,300 करोड़ रुपये का निवेश किया। इससे एनएसई निफ्टी-50 में 2 फीसदी का इजाफा हुआ। एफपीआई पूंजी की अचानक वापसी ने बाजार पर नजर रखने वालों को चौकाया क्योंकि कई विदेशी फंड अपने उभरते बाजारों और एशियाई आवंटन (जापान को छोड़कर) के भीतर भारतीय शेयरों पर अंडरवेट बने रहे हैं।

वैश्विक वजहों से बाजार में तेजी आई : अमेरिकी बॉन्ड यील्ड घटा, अमेरिकी डॉलर कमजोर हुआ, तेल की कीमतें घटीं और धातुओं की कीमतों में इजाफे ने फेडरल रिजर्व की संभावित ब्याज कटौती ने इक्विटी को लेकर अनुकूल माहौल बनाया।

अमेरिका में एसऐंडपी-500 ने भी साल 2024 की सबसे बड़ी साप्ताहिक बढ़ोतरी दर्ज की और यह 3.5 फीसदी चढ़ गया। विश्लेषक जोखिम लेने की इच्छा के दोबारा उभरने को अमेरिकी आर्थिक आंकड़ों की संभावित बेहतरी से जोड़ रहे हैं, जिससे संकेत मिलता है कि आर्थिक मंदी का संकेत दिए बिना फेड दरों में कटौती कर सकता है।

नए नियमों से सूचीबद्धता पर पहले दिन उचित रहेंगी कीमतें

बाजार नियामक सेबी ने आरंभिक सार्वजनिक निर्गम या डीमर्जर के बाद सूचीबद्ध होने वाली कंपनियों के शेयर के पहले दिन की कीमतों को स्थिर करने के लिए नए नियम बनाए हैं। मंगलवार से लागू होने वाले ये बदलाव पहले दिन के कारोबार में उतारचढ़ाव पर लगाम कसेंगे और उचित कीमत की खोज सुनिश्चित करेंगे। पहले, एक घंटे के प्री-ओपन कॉल ऑक्शन सत्र में जोड़तोड़ की आशंका होती थी।

बाजार के प्रतिभागी अक्सर एक घंटे का यह सत्र समाप्त होने से ठीक पहले ऑर्डर रद्द कर देते थे, जिससे गलत मांग सृजित होती थी और कीमत खोज की दिशा बदल जाती थी। इससे निपटने के लिए सेबी ने प्री-ओपन सेशन में सुधार किया है। अब यह ऑर्डर एंट्री के आखिरी 10 मिनट के भीतर अचानक कभी भी खत्म हो जाएगा, जिससे आखिरी मिनट में ऑर्डर रद्द नहीं किए जा सकेंगे।

नए नियम मंगलवार को पीएन गाडगिल ज्वैलर्स के शेयर की सूचीबद्धता के साथ लागू होंगे। अब समय ही बताएगा कि ये बदलाव क्या प्रभावी तौर पर कीमत में जोड़तोड़ रोक पाएंगे या बाजार के प्रतिभागी इसका भी कोई जुगाड़ तलाश लेंगे।

बरकरार है आईपीओ की रफ्तार

रियल एस्टेट डेवलपर आर्केड और लॉजिस्टिक्स कंपनी वेस्टर्न कैरियर्स (इंडिया) के शेयरों के लिए ग्रे मार्केट प्रीमियम (जीएमपी) क्रम से 50 फीसदी व 33 फीसदी है। इस बीच, बजाज हाउसिंग फाइनैंस का शेयर सोमवार को सूचीबद्धता पर दोगुना से ज्यादा हो सकता है जिसका मौजूदा जीएमपी 112 फीसदी है।

ज्वैलरी रिटेलर पीएन गाडगिल का शेयर इसके एक दिन बाद सूचीबद्ध होगा और इसका जीएमपी 70 फीसदी से ज्यादा है। इस महीने आईपीओ गतिविधियों में तेजी आई है और अब तक 10 इश्यू के जरिये कुल 10,407 करोड़ रुपये जुटाए गए हैं।

हालांकि यह अगस्त के 17,110 करोड़ रुपये से कम है (मई 2022 के बाद का सर्वोच्च आंकड़ा), लेकिन मौजूदा रफ्तार बताती है कि प्राथमिक बाजार में सकारात्मक माहौल बरकरार है।

First Published - September 15, 2024 | 9:21 PM IST

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