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जम्मू-कश्मीर में तय समय पर होंगे चुनाव, विरोधियों की मंशा नहीं होने देंगे कामयाब; आतंकी हमलों, हिंसा का डर नहीं: आयोग

उच्चतम न्यायालय द्वारा राज्य में 30 सितंबर 2024 तक विधान सभा चुनाव प्रक्रिया पूरी कराने के निर्देश के संबंध में पूछे गए सवाल पर कुमार ने कहा कि आयोग तय समय पर चुनाव कराएगा।

Last Updated- August 10, 2024 | 12:05 AM IST
Chief Election Commissioner , Rajiv Kumar
Representative Image

मुख्य निर्वाचन आयुक्त राजीव कुमार ने शुक्रवार को कहा कि चुनाव आयोग जम्मू-कश्मीर में विधान सभा चुनाव कराने के लिए प्रतिबद्ध है। जितनी जल्दी हो सकेगा, राज्य में चुनाव अवश्य कराए जाएंगे। आतंकी हमलों, हिंसा और किसी भी तरह केंद्र शासित प्रदेश में चुनाव नहीं चाहने वाले तत्वों की वजह से आयोग अपने कार्यक्रम में कोई बदलाव नहीं करेगा। जम्मू में संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए कुमार ने कहा कि आयोग बाहरी या आंतरिक ताकतों को चुनाव प्रक्रिया को पटरी से उतारने की इजाजत नहीं देगा।

उन्होंने कहा कि प्रशासन सुरक्षा संबंधी चुनौतियों से निपटने में पूरी तरह सक्षम है और केंद्र शासित प्रदेश में चुनाव कराने का यह सबसे अच्छा समय है, क्योंकि बीते दिनों हुए लोक सभा चुनाव शांतिपूर्वक संपन्न होने की प्रक्रिया को आयोग आगे बढ़ाना चाहता है, जिसमें रिकॉर्ड मतदान हुआ था।

चुनावी तैयारियों का जायजा लेने के लिए कुमार समेत तीनों निर्वाचन आयुक्त तीन दिनी दौरे पर जम्मू-कश्मीर गए थे। इसके पहले वर्ष 2014 में तत्कालीन संयुक्त राज्य में विधान सभा चुनाव हुए थे। उच्चतम न्यायालय द्वारा राज्य में 30 सितंबर 2024 तक विधान सभा चुनाव प्रक्रिया पूरी कराने के निर्देश के संबंध में पूछे गए सवाल पर कुमार ने कहा कि आयोग तय समय पर चुनाव कराएगा।

निर्वाचन अधिकारियों ने कहा कि वर्ष 2018 में विधान सभा भंग होने के बाद राज्य में 2019 में विधान सभा चुनाव होने थे। हालांकि 5 अगस्त 2019 को राज्य को दो भागों में बांटकर लद्दाख और जम्मू-कश्मीर को दो अलग-अलग केंद्र शासित प्रदेशों में विभाजित करने के कारण वहां विधान सभा चुनाव नहीं कराए जा सके, क्योंकि परिसीमन की प्रक्रिया अधूरी थी। राज्य में परिसीमन 2022 में पूरा हुआ और उसके बाद उसे जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन कानून के पास होने का इंतजार करना पड़ा, जो दिसंबर 2023 में अमल में आया।

मुख्य निर्वाचन आयुक्त ने कहा कि दिल्ली पहुंच कर सुरक्षा आकलन पूरा करने और फिर 20 अगस्त को अंतिम मतदाता सूची जारी होने के बाद वह राज्य में विधान सभा चुनाव का पूरा कार्यक्रम घोषित कर देंगे।

निर्वाचन आयोग ने जम्मू-कश्मीर में मतदाताओं की संख्या से संबंधित आंकड़ा भी जारी किया, जिसके अनुसार राज्य में 87 लाख से अधिक मतदाता हैं। इनमें 76,902 ऐसे युवा मतदाता हैं, जो पहली बार वोट डालेंगे। शांतिपूर्वक और व्यवस्थित ढंग से चुनाव प्रक्रिया संपन्न कराने के लिए पूरे राज्य में 11,838 मतदान केंद्र बनाए जाएंगे। इनमें 26 मतदान केंद्र प्रवासी कश्मीरी मतदाताओं के लिए होंगे जो जम्मू, उधमपुर और दिल्ली में शिविरों में रह रहे हैं।

First Published - August 9, 2024 | 11:00 PM IST

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